Industry News (कम्पनी समाचार)

सिजेंटा को कारण बताओ नोटिस

Share

गलत मक्का बीज से किसान विपुल उत्पादन का मौका चूका

31 अक्टूबर 2020, इंदौर। सिजेंटा को कारण बताओ नोटिस खेती में बीज की शुद्धता बहुत जरूरी है अन्यथा लाभ के बजाय हानि की आशंका बनी रहती है ऐसा ही एक मामला खरगोन जिले की कसरावद तहसील के ग्राम मुलठान का सामने आया है जहां एक किसान मक्का के गलत बीज के कारण विपुल उत्पादन का मौका चूक गया। इस मामले में उप संचालक कृषि खरगोन ने संबंधित दुकानदार का लाइसेंस निलंबित कर दिया और सिंजेंटा इंडिया को कारण बताओ नोटिस जारी किए है ।

महत्वपूर्ण खबर : उर्वरकों के गुणवत्ता नियंत्रण के लिये चलाये जा रहे अभियान के प्रभावी क्रियान्वयन हेतु दल गठित

प्रभावित किसान श्री जगदीश फूलचंद मालाकार ने कृषक जगत को बताया कि 7 एकड़ का खेत लीज पर लेकर उसमें सिजेंटा का मक्का बीज किस्म 6240 का 40 किलो बीज की 5 जून को बोवनी की थी इस बीच समय-समय पर फसल में आवश्यक दवाइयों एवं खाद का प्रयोग किया गया था ,लेकिन 4 माह बाद जब मक्का फसल में भुट्टे आए तो उनकी लंबाई 2 से 6 इंच ही निकली। भुट्टो का आकार छोटा होने से दाने कम बैठे और उत्पादन भी कम हुआ। श्री मालाकार द्वारा इसकी शिकायत उप संचालक कृषि खरगोन को लिखित में की गई । उप संचालक के निर्देश पर अनुविभागीय कृषि अधिकारी अनुभाग महेश्वर श्री मान सिंह ठाकुर , श्री जी एस कुलमी वरिष्ठ वैज्ञानिक एवं प्रमुख कृषि विज्ञान केंद्र खरगोन और वरिष्ठ कृषि विकास अधिकारी श्री बीएस सेंगर विकासखंड कसरावद के साथ शिकायतकर्ता के खेत का 1 अक्टूबर को निरीक्षण किया गया ।जिसमें मक्का फसल की विस्तृत जांच की गई पीड़ित किसान श्री जगदीश ने निरीक्षण दल को 44 किलो बीज लगाने, उर्वरक डालने, चार बार डोरे चलाने आदि के साथ फॉल आर्मी वर्म के नियंत्रण के लिए कोराजन दवाई का तीन बार स्प्रे करने के बारे में भी बताया।

निरीक्षण दल ने पौधों की, भुट्टो की और खरपतवारों की संख्या जानने के लिए 10 स्थान चिन्हित कर आंकड़े निकालें। निरीक्षण दल को प्रथम दृष्टया निरीक्षण में प्रति वर्ग मीटर 10.2 पौधों की संख्या पाई गई जिसके अनुसार 102000 पौधे प्रति हेक्टर पाए गए ।प्रति मीटर कतार में पौधों की संख्या 6.1 एवं पौधे से पौधे की दूरी 16.39 सेंटीमीटर पाई गई भुट्टो की लंबाई 2 से 6 इंच पाई गई प्रति पौधे औसतन भुट्टो की संख्या 0.51 पाई गई ।मक्का के दानों का कलर पीला और खरपतवार हानि स्तर 4.25 प्रति मीटर कतार में पाया गया जो मक्का फसल में खरपतवारों से नगण्य हानि को बताता है। फसल वृद्धि में एक भी ड्राई स्पेल नहीं पाया गया। इस दौरान किसान ने दल को सिजेंटा कंपनी के मक्का हाइब्रिड किस्म एनके 6240 का खाली बीज पैकेट भी दिखाया जो कंपोजिट / उन्नत किस्म की तुलना में विपुल उत्पादन देने वाली किस्म है। निरीक्षण दल को मौके पर मक्का उत्पादन अत्यधिक कम प्राप्त होना पाया गया जिसका निरीक्षण प्रतिवेदन में भी उल्लेख किया गया।

निरीक्षण दल के प्रतिवेदन के आधार पर श्री एम एल चौहान ,उप संचालक कृषि खरगोन ने संबंधित फर्म मेसर्स श्री राम एंड कंपनी मुलठान एवं बीज उत्पादक कंपनी सिंजेंटा इंडिया लिमिटेड को कारण बताओ नोटिस जारी किए गए जिसमें कंपनी ने अपना जवाब प्रस्तुत किया। कृषक को प्रदाय बीज निर्धारित मानकों के अनुरूप प्रदाय नहीं किए जाने के फलस्वरूप बीज अधिनियम 1966 एवं बीज नियंत्रण आदेश 1983 के नियम 15 एवं 15 (क )और (स ) के अंतर्गत श्री राम एंड कंपनी मुलठान का बीज लाइसेंस क्रमांक 1867 को तत्काल प्रभाव से निलंबित कर दिया। कृषक जगत को जानकारी मिली कि करीबी गांव खामखेड़ा के एक बड़े किसान ने भी सिंजेंटा कम्पनी का मक्का बीज लगाया था ।इनके यहां भी भुट्टे छोटे रह गए। किसान श्री भाईराम बिरले ने कृषक जगत को बताया कि 5 एकड़ में सिंजेंटा कम्पनी का मक्का बीज 6240 मुलठान के एक अन्य कृषि विक्रेता से खरीदकर लगाया था। हमारे यहां भी भुट्टे छोटे रह गए थे,लेकिन हमने इसकी शिकायत कृषि विभाग को नहीं की थी। सिंजेंटा इंडिया लिमिटेड के डिविजनल मैनेजर (फील्ड क्रॉप) श्री मेघराज जाट का कहना है कि वातावरण प्रतिकूलता के कारण भी फसल प्रभावित होती है। इस मामले में कंपनी भी जांच कर रही है । यदि जांच में त्रुटि पाई जाती है तो किसान को मुआवजा दिया जाएगा।

Share
Advertisements

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *