खेख्सा की लाभदायक खेती
बाजार में अच्छे दाम किसान भाईयों के लिए एक अतिरिक्त आय का साधन भी होता है। वर्तमान समय में जब खेख्सा का फल बाजार में आता है तो उसका मूल्य रूपये 90 से 100 रूपये तक प्रति किग्रा तक मिलती
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Crop Cultivation includes package of practices (Kheti ki Jankari) and innovations in farming practices (Beej Upchar, Kharpatwar niyantaran, rogon aur sankraman se suraksha)
Cereal crops (अनाज की फसल) – Gehu, Dhan, Makka, Jau, Bajra, Jowar, Ragi, Kodo, Kutki.
Oil seeds (तिलहन) – Soybean, Canola, Sarso, Surajmukhi, Moongfali.
Pulses (दलहन फसल) – Moong, Arhar, Tur, Chana, Masoor, Urad.
Fibre crops (रेशे वाली फसलें) – Kapas (Cotton), Jute. Tuber crops (कंद की फसलें) – Aalu, shakarkand, shaljam, Arbi.
Spice crops (मसाला फसलें) – ilichai, laung, haldi, adrak, lehsun, jeera, Kela, ganna (Sugarcane), Mirch, dhaniya.
Cash crops (नकदी फसलें) – Chai, Coffee, Tambaku.
Vegetable crops (सब्जियों की फसलें) – Pyaz, tamatar, baingan, lauki, gilki, kaddu, bhindi, palak, methi, gobhi.
Fruit crops (फल) – Angoor, Aam, sab, kela, Santara, Anar, amrood ki kheti ki jankari.
बाजार में अच्छे दाम किसान भाईयों के लिए एक अतिरिक्त आय का साधन भी होता है। वर्तमान समय में जब खेख्सा का फल बाजार में आता है तो उसका मूल्य रूपये 90 से 100 रूपये तक प्रति किग्रा तक मिलती
आगे पढ़ने के लिए क्लिक करेंसोयाबीन भारतवर्ष की एक महत्वपूर्ण तिलहनी फसल सोयाबीन भारतवर्ष की एक महत्वपूर्ण तिलहनी फसल है देश में इसकी खेती लगभग 65 लाख हेक्टेयर क्षेत्रफल में की जाती है। जिससे प्रतिवर्ष लगभग 78 लाख टन उत्पादन प्राप्त होता है सोयाबीन उगाने
आगे पढ़ने के लिए क्लिक करेंभिन्न-भिन्न ऊंचाई एवं भिन्न-भिन्न रंगों के कारण लेण्ड स्केप की खूबसूरती बढ़ाने के भी काम आता है। यह क्यारियों में तथा हरबेसियस बॉर्डर के रूप में आसानी से उगाया जाने वाला पौधा है। इसके साथ सबसे महत्वपूर्ण एवं फायदेमंद बात
आगे पढ़ने के लिए क्लिक करेंवर्ष 2015 का खरीफ शुरू होने को है। खरीफ का महत्व क्षेत्रफल तथा फसल विविधता की दृष्टि से विशेष है। खरीफ में पैदा किये जाने वाली प्रमुख फसलें धान, सोयाबीन, मूंगफली, मूंग, उड़द तथा अरहर है जिनमें से सबसे अधिक
आगे पढ़ने के लिए क्लिक करेंपोषक मूल्य पोष्टिकता की दृष्टि से यह विटामिन एवं खनिज लवणों का स्त्रोत है। इसके फल विटामिन ए व सी से भरपूर होते हैं। मिर्च का तीखापन उसमें उपस्थित एल्कालॉयड कैपसाइसिन के कारण होता है। जलवायु निमाड़ की जलवायु मिर्च
आगे पढ़ने के लिए क्लिक करेंडॉ. नीरज शुक्ला , डॉ. डी.ए. सरनाईक , डॉ पी.एन. सिंह आम को फलों का राजा कहा जाता है और यह हमारे देश का राष्ट्रीय फल है आम में विटामिन ए तथा सी प्रचुर मात्रा में होता है। इस फल
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