मध्य प्रदेश के 20 जिलों में कहीं-कहीं भारी वर्षा संभावित
18 जुलाई 2024, इंदौर: मध्य प्रदेश के 20 जिलों में कहीं-कहीं भारी वर्षा संभावित – मौसम केंद्र भोपाल से मिली जानकारी के अनुसार पिछले 24 घंटों के दौरान मध्यप्रदेश के के इंदौर, ग्वालियर, चंबल, रीवा संभागों के जिलों में कहीं- कही; शहडोल, सागर संभागों के जिलों में कुछ स्थानों पर; भोपाल, जबलपुर संभागों के जिलों में अनेक स्थानों पर; नर्मदापुरम, उज्जैन संभागों के जिलों में अधिकांश स्थानों पर वर्षा दर्ज़ की गई एवं शेष सभी संभागों के जिलों में मौसम मुख्यतः शुष्क रहा। राज्य के कई जिलों में गरज चमक के साथ तेज़ हवाएं चलीं । दीर्घावधि औसत से 1 जून से 18 जुलाई तक मध्यप्रदेश में 6 % कम वर्षा हुई है। पूर्वी मप्र में औसत से 19 % कम और पश्चिमी मप्र में औसत से 7 %अधिक वर्षा हुई है। पचमढ़ी में सर्वाधिक 92.6 मिमी वर्षा हुई।
मौसम की स्थिति – मानसून ट्रफ अब जैसलमेर, कोटा, गुना, मंडला, पेंड्रा रोड़ , गोपालपुर से होकर गुजर रहा है और वहां से दक्षिण – पूर्व की ओर मध्य और निकटवर्ती उत्तरी बंगाल की खाड़ी पर निम्न दाब क्षेत्र के केंद्र तक विस्तृत है। एक अन्य निम्न दाब क्षेत्र मध्य और संलग्न उत्तरी बंगाल की खाड़ी के ऊपर चक्रवातीय परिसंचरण के साथ बना हुआ है। कच्छ और संलग्न पूर्वोत्तर अरब सागर के ऊपर चक्रवातीय परिसंचरण सक्रिय है। वर्तमान में पश्चिमी विक्षोभ मध्य क्षोभमंडल की पछुआ हवाओं के बीच ट्रफ के रूप में सक्रिय है। वहीं दक्षिण गुजरात-उत्तरी केरल तटों पर अपतटीय ट्रफ एवं विरूपक हवाओं का क्षेत्र भी स्थित है।
पूर्वानुमान – रायसेन, नर्मदापुरम, बैतूल, हरदा, बुरहानपुर, खंडवा, खरगोन , शिवपुरी ,ग्वालियर , दतिया, भिंड , मुरैना, सतना, जबलपुर,छिंदवाड़ा, मंडला, बालाघाट, छतरपुर, निवाड़ी और पांढुर्ना जिलों में कहीं -कहीं वज्रपात / झंझावात के साथ भारी वर्षा (64.5 –115.5 मि .मी.) होने की संभावना है। जबकि रायसेन, नर्मदापुरम, बैतूल, हरदा, बुरहानपुर, खंडवा, खरगोन , शिवपुरी, ग्वालियर , दतिया , भिंड , मुरैना, सतना, डिंडोरी , जबलपुर, छिंदवाड़ा , छतरपुर, निवाड़ी और पांढुर्ना जिलों में अनेक स्थानों पर वर्षा या गरज चमक के साथ बौछारें पड़ेंगी। अन्य जिलों में कुछ स्थानों पर या कहीं -कहीं वर्षा होने की संभावना है।
(नवीनतम कृषि समाचार और अपडेट के लिए आप अपने मनपसंद प्लेटफॉर्म पे कृषक जगत से जुड़े – गूगल न्यूज़, टेलीग्राम, व्हाट्सएप्प)
(कृषक जगत अखबार की सदस्यता लेने के लिए यहां क्लिक करें – घर बैठे विस्तृत कृषि पद्धतियों और नई तकनीक के बारे में पढ़ें)
कृषक जगत ई-पेपर पढ़ने के लिए नीचे दिए गए लिंक पर क्लिक करें:
www.krishakjagat.org/kj_epaper/
कृषक जगत की अंग्रेजी वेबसाइट पर जाने के लिए नीचे दिए गए लिंक पर क्लिक करें: