राष्ट्रीय भू-स्थानिक ज्ञान-आधारित भूमि सर्वेक्षण प्रोजेक्ट की वीडियो कांफ्रेंसिंग हुई
29 जनवरी 2025, झाबुआ: राष्ट्रीय भू-स्थानिक ज्ञान-आधारित भूमि सर्वेक्षण प्रोजेक्ट की वीडियो कांफ्रेंसिंग हुई – भूमि संसाधन विभाग (डीओएलआर) ने डिजिटल इंडिया भूमि रिकॉर्ड आधुनिकीकरण कार्यक्रम (डीआईएलआरएमपी) के तहत शहरी बस्तियों का राष्ट्रीय भू-स्थानिक ज्ञान-आधारित भूमि सर्वेक्षण (NAKSHA) नामक एक वर्षीय पायलट प्रोग्राम शुरू किया है। सचिव, भूमि संसाधन विभाग, ग्रामीण विकास मंत्रालय, भारत सरकार श्री मनोज जोशी आईएएस की अध्यक्षता में सभी जिला कलेक्टरों और संबंधित जिलों के मजिस्ट्रेट की गत दिनों वीडियो कांफ्रेंसिंग ली गई। वीडियो कांफ्रेंसिंग में NAKSHA के उद्देश्यों/लक्ष्यों को साकार करने के लिए ओरिएंटेशन और बुनियादी दृष्टिकोण और कार्यप्रणाली की जानकारी प्रदान की गई । इस पहल का उद्देश्य 26 राज्यों और 3 केंद्र शासित प्रदेशों (यूटी) में 152 शहरी स्थानीय निकायों (यूएलबी) में पायलट के रूप में शहरी क्षेत्रों के लिए भूमि रिकॉर्ड बनाना है। इस प्रोजेक्ट अंतर्गत मध्य प्रदेश के 10 जिलों को शामिल किया गया है, जिसमें झाबुआ जिले को भी शामिल किया गया है।
शहरी क्षेत्रों के लिए भूमि अभिलेखों का आधुनिकीकरण एक नया और विशिष्ट अनुशासन है जिसके लिए हितधारकों के बीच विविध ज्ञान, तकनीकी सुविधा और क्षमता निर्माण की आवश्यकता है। चुनौतियों का समाधान करने के लिए, देश भर के प्रतिष्ठित संस्थानों जैसे कि सर्वे ऑफ इंडिया, प्रशासनिक प्रशिक्षण संस्थान, एनआईसी, तीसरे पक्ष की एजेंसियों आदि को विभिन्न गतिविधियों को करने के लिए लगाया गया है। इस प्रोजेक्ट के सफल कार्यान्वयन से निम्नलिखित परिणाम प्राप्त होने की उम्मीद है: सटीक और ऑनलाइन शहरी भूमि रिकॉर्ड, बेहतर शहरी प्रशासन, उन्नत शहरी नियोजन और कराधान, अधिक पारदर्शिता और दक्षता, राष्ट्रव्यापी कार्यान्वयन हेतु ब्लूप्रिंट। इस दौरान जिले से कलेक्टर नेहा मीना एवं संबंधित प्रशासनिक अधिकारी उपस्थित थे ।
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