State News (राज्य कृषि समाचार)

सोयाबीन की उन्नत किस्मों के प्रदर्शन प्लाट का सीधा प्रसारण किया

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30 सितम्बर 2022, इंदौर: सोयाबीन की उन्नत किस्मों के प्रदर्शन प्लाट का सीधा प्रसारण किया – भारतीय सोयाबीन अनुसंधान संस्थान, इंदौर द्वारा गत दिनों अपने  यू ट्यूब  चैनल एवं एवं फेसबुक पेज  के माध्यम से अनुसन्धान प्रक्षेत्र पर लगाए गए  सोयाबीन की उन्नत किस्मों/ तकनीकी पर प्रदर्शन प्लाट का  गत दिनोंसीधा प्रसारण किया गया, ताकि देश – प्रदेश के छोटे एवं सीमांत कृषक घर बैठे मोबाइल फ़ोन पर सोयाबीन किस्मों एवं संबंधित तकनीकी की जानकारी प्राप्त कर सकें। इस सुविधा का 750 कृषकों ने लाभ लिया।

 संस्थान के प्रधान वैज्ञानिक एवं विभागाध्यक्ष-फसल उत्पादन,  डॉ बी.यु.दुपारे ने अपने उद्बोधन में कहा कि विगत दो वर्षो में जारी कई किस्मों में से कुल 14 नवीनतम किस्मों को प्रदर्शनार्थ लगाया गया है। यह  सजीव प्रसारण इसलिए किया गया , ताकि देश – प्रदेश के छोटे एवं सीमांत  कृषकों को घर बैठे मोबाइल फ़ोन पर सोयाबीन किस्मों एवं  संबंधित तकनीकी की जानकारी  मिल सके । प्रभारी निदेशक डॉ संजय गुप्ता ने कहा कि इस “लाइव वर्चुअल विजिट” से कम समय में अधिक से अधिक किसानों तक संस्थान द्वारा विकसित नवीनतम सोयाबीन की किस्मों एवं अन्य तकनीकी को सीधे वास्तविक उपयोगकर्ता के पास ले जाने में सुविधा होगी। डॉ गुप्ता ने एक ही किस्म जैसे जे.एस. 95-60 की बजाय  अपने जलवायु के अनुकूल 2-3 सोयाबीन किस्मों को लगाने की सलाह दी। वर्तमान में ऐसी कई किस्मे उपलब्ध हैं, जैसे एनआरसी  130, एनआरसी  138, एनआरसी 142 जो कम समय में पकने के साथ-साथ अधिक उत्पादन देने में सक्षम  है। फसल संरक्षण विभाग के अध्यक्ष डॉ महावीर प्रसाद शर्मा ने इस वर्ष कीट एवं रोग नियंत्रण हेतु संस्थान द्वारा सुझाए  गए प्रबंधन तरीकों को साप्ताहिक सलाह  या संबंधित विषय पर विडियो के माध्यम से नियंत्रण के उपायों को प्रभावी तरीकों से प्रस्तुत किया। डॉ. संजय गुप्ता, डॉ. विनीत कुमार, डॉ अनीता रानी, डॉ शिव कुमार  एवं डॉ एम.पी शर्मा के साथ डॉ दुपारे द्वारा प्रत्यक्ष प्रदर्शन प्लाट पर उन किस्मों के पौधे दिखाकर वैज्ञानिक चर्चा की गई। कृषकों के प्रश्नों, शंकाओं एवं सुझावों का प्रत्यक्ष निराकरण  भी किया गया। प्रत्यक्ष प्रसारण के आयोजन एवं समन्वयन में डॉ दुपारे एवं  प्रधान वैज्ञानिक (कृषि विस्तार) व डॉ. सविता कोल्हे का सहयोग रहा।

उल्लेखनीय है कि इंदौर के सोयाबीन अनुसन्धान संस्थान के अनुसन्धान प्रक्षेत्र पर लगभग 1 हेक्टेयर क्षेत्र पर इस वर्ष देश के विभिन्न क्षेत्रों/राज्यों के लिए अनुशंषित, कुल 14 सोयाबीन नई किस्मों (एन.आर.सी. 130, एन.आर.सी. 138, एन.आर.सी. 142, एन.आर.सी. 150, एन.आर.सी. 152, एन.आर.सी. 127, एन.आर.सी. 128, एन.आर.सी. 136, जे.एस. 21-72, हिम्सो 1689, आर.वी.एस.एम. 2011-35, आर.एस.सी. 1046, आर.एस.सी. 1052, तथा ए.एम.एस. 100-39 को विभिन्न क्षेत्रों से नई तकनीकी को जानने एवं देखने के लिए प्रदर्शन के रूप में लगाया गया  है।

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