शहद प्रसंस्करण के लिए प्रति यूनिट 3 करोड़ की सहायता
19 फरवरी 2022, नई दिल्ली । शहद प्रसंस्करण के लिए प्रति यूनिट 3 करोड़ की सहायता – केन्द्रीय कृषि मंत्री श्री नरेन्द्र सिंह तोमर ने गत दिनों लोकसभा में बताया कि सरकार शहद और मधुमक्खी छत्ते के अन्य उत्पाद प्रसंस्करण इकाईयों व सयंत्र के लिए लगभग 3 करोड़ रुपये प्रति यूनिट अधिकतम परियोजना लागत की सहायता देती है। जबकि परियोजना या यूनिट की कुल लागत 5 करोड़ है। श्री तोमर लोकसभा में सवाल का जवाब दे रहे थे।
श्री तोमर ने बताया कि मीठी क्रांति के लक्ष्य को प्राप्त करने के लिए आत्मनिर्भर भारत घोषणा के तहत राष्ट्रीय मधुमक्खी बोर्ड राष्ट्रीय मधुमक्खी पालन और शहद मिशन (एनबीएचएम) नामक एक केन्द्रीय क्षेत्र की योजना का कार्यान्यवन कर रहा है।
उन्होंने बताया कि एनबीएचएम का मुख्य उद्देश्य आय और रोजगार सृजन हेतु मधुमक्खी पालन उद्योग के समग्र विकास के लिए वैज्ञानिक मधुमक्खी पालन को बढ़ावा देना, कृषि और गैर-कृषि परिवारों को आजीविका सहायता प्रदान करना है।
शहद उत्पादन में प्रौद्योगिकी कार्यकलापों और मधुमक्खी कालोनियों के रोगों की रोकथाम के लिए एनबीएचएम के तहत वैज्ञानिक मधुमक्खी पालन को बढ़ावा देने व प्रचार के लिए नई वैश्विक प्रौद्योगिकी को प्रोत्साहित करने और मधुमक्खी रोग निदान प्रयोगशालाओं की स्थापना के लिए सहायता दी जाती है।
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