फॉस्फेटिक और पोटाश उर्वरकों की आपूर्ति जॉर्डन से होगी
चालू वर्ष के लिए 30 एलएमटी रॉक फॉस्फेट, 2.50 एलएमटी डीएपी, 1 एलएमटी फॉस्फोरिक एसिड जॉर्डन आपूर्ति के लिए जॉर्डन के साथ समझौता ज्ञापन पर हस्ताक्षर
18 मई 2022, नई दिल्ली । फॉस्फेटिक और पोटाश उर्वरकों की आपूर्ति जॉर्डन से होगी – केन्द्रीय रसायन एवं उर्वरक मंत्री डॉ. मनसुख मंडाविया ने कहा, ‘‘सरकार गरीब और किसान समर्थक हैं और किसानों को उर्वरकों की आपूर्ति करने के लिए प्रतिबद्ध हैं। देश में उर्वरकों की कोई कमी नहीं है।’’, ‘‘हमने घरेलू उत्पादन और अन्य देशों के साथ साझेदारी बढ़ाने के साथ खरीफ मौसम से पहले किसानों को पर्याप्त आपूर्ति सुनिश्चित करने के लिए सक्रिय कदम उठाए हैं।’’
पहली बार अपनी तरह की पहल में, डॉ. मनसुख मंडाविया के नेतृत्व में एक उच्च स्तरीय प्रतिनिधिमंडल ने उर्वरक और कच्चे माल को लघु और दीर्घ अवधि के लिए सुरक्षित करने के उद्देश्य से गत दिनों जॉर्डन का दौरा किया। रणनीतिक रूप से महत्वपूर्ण यह यात्रा वर्तमान वैश्विक उर्वरक संकट की पृष्ठभूमि में हुई है। मंडाविया ने कहा कि जॉर्डन की यात्रा भारत को फॉस्फेटिक और पोटाश उर्वरकों की आपूर्ति सुनिश्चित करने के मामले में पथप्रदर्शक साबित हुई है।
चालू वर्ष में 30 एलएमटी रॉक फॉस्फेट, 2.50 एलएमटी डीएपी, 1 एलएमटी फॉस्फोरिक एसिड की आपूर्ति के लिए भारतीय सार्वजनिक, सहकारी और निजी क्षेत्र की कंपनियों के साथ जॉर्डन फॉस्फेट माइनिंग कंपनी (जेपीएमसी) ने समझौता ज्ञापन पर हस्ताक्षर किए। उन्होंने कहा कि भारत ने 2.75 एलएमटी की वार्षिक आपूर्ति के लिए जॉर्डन के साथ 5 साल के लिए एक दीर्घकालिक समझौता ज्ञापन पर हस्ताक्षर किए हैं जो हर साल समान रूप से बढ़कर 3.25 एलएमटी हो जाएगा। रसायन मंत्री ने जोर देकर कहा, ‘‘ये आपूर्ति भारत में आगामी फसल मौसम के लिए सुनिश्चित उर्वरक आपूर्ति के लिए महत्वपूर्ण होगी’’।
यह उल्लेख किया गया था कि जॉर्डन अपने एमओपी के उत्पादन का लगभग 25 प्रतिशत भारत को आवंटित कर रहा है। अरब पोटाश के प्रयासों की सराहना करते हुए, डॉ. मंडाविया ने भारत को उचित दरों पर एमओपी की आपूर्ति बढ़ाने की आवश्यकता पर बल दिया।