पंजाब सरकार ने धान उठाने के काम को किया तेज, सीएम ने कहा- किसानों को नहीं होगी कोई असुविधा
22 अक्टूबर 2024, चंडीगढ़: पंजाब सरकार ने धान उठाने के काम को किया तेज, सीएम ने कहा- किसानों को नहीं होगी कोई असुविधा – पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत सिंह मान ने राज्य की मंडियों में खरीदे जा रहे धान को तेजी से उठाने के निर्देश दिए हैं। मुख्यमंत्री ने अधिकारियों से कहा है कि धान की जल्द से जल्द ढुलाई सुनिश्चित की जाए ताकि किसानों को किसी प्रकार की असुविधा का सामना न करना पड़े। उन्होंने चेतावनी दी कि खरीद प्रक्रिया में बाधा डालने वालों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी।
किसानों की सुविधा पर जोर
मुख्यमंत्री भगवंत मान ने एक बैठक की अध्यक्षता करते हुए कहा कि पंजाब के किसानों ने देश को खाद्यान्न उत्पादन में आत्मनिर्भर बनाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है। उन्होंने यह भी स्वीकार किया कि जल और उपजाऊ भूमि जैसे प्राकृतिक संसाधनों का अति-उपयोग भी इसी प्रक्रिया में हुआ है। इस साल पंजाब से 185 लाख मीट्रिक टन धान के राष्ट्रीय खाद्य भंडार में योगदान की उम्मीद है।
भगवंत मान ने कहा कि किसानों को किसी भी तरह की असुविधा से बचाने के लिए राज्य सरकार प्रतिबद्ध है। उन्होंने स्पष्ट किया कि मंडियों में फसल की संकटपूर्ण बिक्री को किसी भी हालत में बर्दाश्त नहीं किया जाएगा और इसमें गड़बड़ी पाए जाने पर अधिकारियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई होगी।
2651 मंडियों में धान खरीद की व्यवस्था
मुख्यमंत्री ने बताया कि धान की खरीद के लिए राज्य भर में 2651 मंडियों की व्यवस्था की गई है। उन्होंने कहा कि खरीफ विपणन सीजन (KMS) 2024-25 के लिए ₹41,378 करोड़ का कैश क्रेडिट लिमिट (CCL) भारतीय रिजर्व बैंक द्वारा जारी कर दिया गया है, जिससे किसानों को समय पर भुगतान हो रहा है। उन्होंने अधिकारियों को युद्धस्तर पर धान उठाने की प्रक्रिया तेज करने के निर्देश भी दिए।
बैठक में अधिकारियों ने जानकारी दी कि अब तक राज्य की मंडियों में 24.88 लाख मीट्रिक टन धान की आवक दर्ज की गई है, जिसमें से 22.22 लाख मीट्रिक टन की खरीद पूरी हो चुकी है। ₹4,027 करोड़ का भुगतान खाद्य और नागरिक आपूर्ति विभाग द्वारा पहले ही किसानों को किया जा चुका है।
मुख्यमंत्री मान ने कहा कि पंजाब सरकार किसानों के हितों की सुरक्षा के लिए पूरी तरह प्रतिबद्ध है और सुनिश्चित करेगी कि खरीद और भुगतान की प्रक्रिया बिना किसी रुकावट के सुचारू रूप से चलती रहे। उन्होंने अधिकारियों को यह भी निर्देश दिया कि मंडियों में होने वाली हर गतिविधि की नियमित निगरानी की जाए ताकि खरीद प्रक्रिया में पारदर्शिता बनी रहे।
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