राज्य कृषि समाचार (State News)

इंदौर में ड्रोन पायलट प्रशिक्षण केंद्र का हुआ शुभारम्भ

युवाओं को रोज़गार और किसानों को कृषि में  होगा सहायक

26 नवंबर 2024, इंदौर: इंदौर में ड्रोन पायलट प्रशिक्षण केंद्र का हुआ शुभारम्भ – मध्य प्रदेश के जल संसाधन मंत्री श्री तुलसीराम सिलावट ने कृषि अभियांत्रिकी मुसाखेड़ी इंदौर में ड्रोन पायलट प्रशिक्षण केंद्र का शुभारम्भ किया।  विशिष्ट अतिथि पद्मश्री डॉ. एम अन्नादुरई मिशन डायरेक्टर चन्द्रयान एवं मंगलयान थे। इस मौके पर  एमआईटी इंस्टीट्यूट मद्रास के डीन  डॉ . के. रामचंद्रन,सीएएसआर आरपीटीओ चेन्नई के डायरेक्टर डॉ. के सेंथिल, अन्ना यूनिवर्सिटी मद्रास के हेड ऑफ ऑपरेशन विंग श्री के. आर. श्रीकांत, संचालक कृषि अभियांत्रिकी म.प्र.शासन श्री राजीव चौधरी, डीजीसीएम इंदौर के निर्देशक श्री मीणा, सहायक कृषि यंत्री श्री एम. के. भार्गव सहित अन्य अधिकारीगण, बड़ी संख्या में ड्रोन प्रशिक्षण लेने वाले युवा और कृषकगण उपस्थित थे।

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श्री सिलावट ने  ड्रोन पायलट प्रशिक्षण कक्ष का फीता काटकर शुभारंभ किया। उन्होंने प्रशिक्षण केन्द्र की व्यवस्था और ड्रोन पायलट प्रशिक्षण संबंधित जानकारी भी ली। श्री सिलावट ने कहा कि  ड्रोन प्रशिक्षण युवाओं और किसानों के लिए विकास के नए द्वार खोलने वाला है। इस प्रशिक्षण से युवाओं को रोजगार मिलेगा वहीं किसानों को ड्रोन के माध्यम से कृषि कार्य में मदद मिलेगी, जिससे लागत कम होकर खेतों में उर्वरक और दवाओं के छिड़काव में तकनीक सहायक बनेगी। यह प्रशिक्षण किसानों और युवाओं के लिए खुशहाली और उन्नति के पथ सृजित करेगा।  प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में राष्ट्र तकनीक के उपयोग के साथ विकास के संकल्प को लेकर तथा प्रदेश के मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव के मार्गदर्शन में आगे बढ़ रहा है।उन्होंने कहा कि केंद्रीय नागरिक उड्डयन मंत्री श्री ज्योतिरादित्य सिंधिया ने प्रदेश में 5 ड्रोन स्कूल खोलने की घोषणा की थी। प्रदेश  का पहला स्कूल भोपाल में संचालित हो रहा है , जबकि इन्दौर के इस दूसरे स्कूल में युवाओं को ड्रोन संचालन का  प्रशिक्षण मिलेगा। आपने ड्रोन स्कूल की स्थापना के लिए कृषि अभियांत्रिकी संचालनालय के प्रयासों की भी प्रशंसा की।

पद्मश्री डॉ. एम अन्नादुरई  ने कहा कि  यह पल इंदौर के लिए बहुत महत्वपूर्ण है।  वे स्वयं भी इस कार्यक्रम में सम्मिलित होकर गौरवान्वित महसूस कर रहे है, क्योंकि किसानों की प्रगति के लिए तकनीक का साथ होने का यह पल बहुत ही खुशी देने वाला है। विज्ञान और किसान मिलकर नई तकनीक के उपयोग से उन्नत कृषि के लिए आगे बढेंगे। वहीं  डॉ के. रामचंद्रन ने  कहा कि ड्रोन प्रशिक्षण युवाओं के लिए नए रोजगार के अवसर सृजित करेगा।  वहीं किसानों को उन्नत तकनीक के माध्यम से कृषि संसाधनों की सुविधा मिलेगी। यह प्रशिक्षण आधुनिक तकनीक से सीधे किसानों के जुड़ने का अवसर है। स्वागत संबोधन श्री चौधरी ने  दिया और पूरे प्रशिक्षण कार्यक्रम की रूपरेखा बताई।  कार्यक्रम स्थल पर कृषि कार्य में सहयोगी कृषि उपकरणों की प्रदर्शनी लगाई गई , जिसमें ड्रोन, हाई ग्राउंड़ क्लीयरेंस बुक स्प्रेयर, लेजर लैंड लेबलर, स्टा रिपर, स्वचलित टूलबार राइड ऑफ टाइप, स्लेशर, सुपर सीडर, मल्चर, बेलर, हे रेक, सब साइलर, श्रेलर, पावर हेरो, ब्रॉडबैंड फेरो प्लांटर, सॉवाइल मॉइश्चर सेंसर सहित अत्याधुनिक तकनीक के ट्रैक्टर सहित अन्य कृषि उपकरण विशेष आकर्षण का केंद्र रहे।

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