राज्य कृषि समाचार (State News)

दिल की हिफाजत के लिए विशेषज्ञों के टिप्स

अब अगर यह कहा जाये कि भारत धीरे-धीरे दिल के मरीजों का देश बनता जा रहा है, तो इसमें कोई अतिश्योक्ति नहीं होगी। जाहिर है जहां पांच करोड़ लोग दिल के मरीज हैं और ऐसा माना जा रहा हो कि निकट भविष्य में लगभग 20 करोड़ लोग दिल की बीमारी से ग्रस्त हो सकते हैं, तो फिर ऐसा मानने में क्या हर्ज है कि दिल का रोग यहां अपनी जड़ें जमाता जा रहा है। सबसे अधिक खरतनाक बात तो यह है कि 40 से कम उम्र के लोग भी लगातार दिल की बीमारी से पीडि़त होते जा रहे हैं। अभी तक ऐसी आम धारणा थी कि 40 वर्ष तक तो मौज-मस्ती के दिन होते हैं और उसके बाद ही दिल की बीमारी का आक्रमण होता है।

यह एक आश्चर्य जनक तथ्य है कि पिछले कुछ दशकों में कोरोनरी हार्ट बीमारी भारत में एक महामारी की तरह फैली है। एक अनुमान के मुताबिक आज की तारीख में भारतवर्ष में लगभग 3 से 5 करोड़ लोग दिल की बीमारियों के शिकार है और जिनकी गिनती में प्रतिदिन बढ़ौत्तरी हो रही है। नई दिल्ली स्थित साओल हार्ट सेंटर के निदेशक डॉ. बिमल छाजेड़ का कहना है कि हृदय धमनियों में पैदा होने वाले अवरोध की स्थिति को जीवन शैली में बदलाव तथा हृदय रोग से संबंधित सभी खतरनाक कारकों को नियंत्रित कर पलटा जा सकता है। ऐसा करके आप न सिर्फ बाई पास सर्जरी या एंजीयोप्लास्टी से बच सकते हैं, बल्कि इन सर्जरियों के बाद फिर से धमनियों में रूकावट पैदा होने की संभावना को भी खत्म करवा सकते हैं। यहां उन दस उपायों से अवगत करा रहे हैं, ताकि हृदय की बीमारियों को रोका जा सके-

Advertisement
Advertisement

अपने कोलेस्ट्रोल स्तर को 130 एमजी/डीएल तक रखिये- कोलेस्ट्रोल के मुख्य स्रोत जीव उत्पाद हैं, जिनसे जितना अधिक हो बचने की कोशिश करें। अगर आपके यकृत यानी लीवर में अतिरिक्त कोलेस्ट्रोल का निर्माण हो रहा हो, तब आप को कोलेस्ट्रोल घटाने वाली दवाओं का सेवन करना पड़ सकता है।

भोजन बगैर तेल के बनाये, लेकिन मसाले का प्रयोग बंद नहीं करें- मसाले हमें भोजन का स्वाद देते हैं न कि तेल का। हमारे ‘जीरो ऑयलÓ भोजन निर्माण विधि का प्रयोग करें और हजारों हजार जीरो ऑयल भोजन स्वाद के साथ समझौता किये बगैर तैयर करें। तेल ट्रिगलिेराइडस होते हैं और रक्त स्तर 130 एमजी 1 डीएल के नीचे रखा जाना चाहिए।

Advertisement8
Advertisement

तनावों को कम करें- इससे आप को हृदय रोग को रोकने में मदद मिलेगी क्योंकि मनोवैज्ञानिक तनाव हृदय की बीमारियों की मुख्य वजह हैं। इससे आप को बेहतर जीवन स्तर बनाये रखने में भी मदद मिलेगी।

Advertisement8
Advertisement

हमेशा ही रक्त दबाव को 120/ 80 एमएमएचजी के आसपास रखें – बढ़ा हुआ रक्त दबाव विशेष रूप से 130/90 से ऊपर आपके ब्लॉकेज (अवरोध) को दुगनी रफ्तार से बढ़ायेगा। तनाव में कमी, ध्यान, नमक में कमी तथा यहां तक कि हल्की दवाएं लेकर भी रक्त दबाव को कम करें।
अपने वजन को सामान्य रखें- आप का बॉडी मास इंडेक्स (बीएमआई) को 25 से नीचे रहना चाहिए। इसकी गणना आप अपने किलोग्राम वजन को मीटर में अपने कद के स्ववायर के साथ घटाकर कर सकते है। तेल नहीं खाकर एवं निम्र रेसे वाले अनाजों तथा उच्च किस्म के सलादों के सेवन द्वारा आप अपने वजन को नियंत्रित कर सकते हैं।

टहलना जरूरी- टहलने की रफ्तार इतनी होनी चाहिए जिससे सीने में दर्द नहीं हो और हांफे भी नहीं। यह आप के अच्छे कोलेस्ट्रोल यानी एचडीएल कोलेस्टर्रोल को बढ़ाने में आपकी मदद कर सकता है।

हल्के योग व्यायाम करें- यह आपके तनाव, तथा रक्त दबाव को कम करेगा। आपको सक्रिय रखेगा और आपके हृदय रोग को नियंत्रित करने में मददगार साबित होगा।

भोजन में रेसे और एंटी ऑक्सीडेन्ट्ïस- भोजन में अधिक सलाद, सब्जियों तथा फलों का प्रयोग करें। ये आपके भोजन में रेसे और एंटी ऑक्सीडेन्ट्ïस के स्रोत हैं और एचडीएल या गुड कोलेस्टरोल को बढ़ाने में सहायक होते हैं।

हार्ट अटैक से पूरी तरह बचाव – डॉ. बिमल छाजेड़ के अनुसार हार्ट अटैक से बचने का सबसे आसान संदेश है ”और अधिक रूकावटें न होने दें। यदि आप इन्हें घटा सकते हैं, तो हार्ट अटैक कभी नहीं होगा। यह कुछ ऐसा है, जैसे कि नोटों के बंडल के ऊपर रबर बैंड की सुरक्षा। यदि आप रबर बैंड में ज्यादा से ज्यादा नोट डालते ही जाएंगे, तो एक दिन ऐसा होगा जब रबर बैंड टूट जाएगा। यही परिस्थिति हार्ट अटैक की भी होती है, जहां झिल्ली टूट जाती है। अब यदि आप और नोट डालना बंद कर देंगे तो रबर नहीं टूटेगा। इसके आगे यदि आप हर रोज इस बंडल में से एक-दो नोट निकालते रहेंगे तो भी रबर बैंड कभी नहीं टूटेगा। यही नियम हार्ट अटैक से बचाव में भी लागू होता है। पर्याप्त रूप से हृदय की बीमारियां पैदा करने वाले कारकों को नियंत्रित करके हार्ट अटैक से बचा जा सकता है।        

Advertisement8
Advertisement

– उमेश कुमार सिंह

Advertisements
Advertisement5
Advertisement