राष्ट्रीय कृषि समाचार (National Agriculture News)

प्रोटीन से भरपूर शाकाहारी खाद्य पदार्थ

लेखक: डॉ निधि जोशी1, 1 विषय वस्तु विशेषज्ञ गृह विज्ञान, कृषि विज्ञान केंद्र, भा.कृ.अनु.प. – केंद्रीय कृषि अभियांत्रिकी संस्थान, भोपाल, मध्य प्रदेश- 462038

25 सितम्बर 2024, नई दिल्ली: प्रोटीन से भरपूर शाकाहारी खाद्य पदार्थ – प्रोटीन, मानव शरीर के लिए एक आवश्यक पोषक तत्व है। पानी के बाद प्रोटीन शरीर का दूसरा सबसे प्रचुर घटक है। हमारे शरीर के वजन का लगभग 16 प्रतिशत हिस्सा प्रोटीन से बना है। प्रोटीन मांसपेशियों का महत्वपूर्ण घटक है जो शरीर को एक संरचनात्मक ढांचा प्रदान करते है। प्रोटीन ऊतकों के निर्माण एवं मरम्मत में मदद करते हैं। प्रोटीन एंजाइम, हार्मोन या वाहक के रूप में कार्य करके चयापचय नियंत्रित करता है। बालों, नाखूनों, त्वचा (पक्षियों और जानवरों के पंख और खुर) में केराटिन प्रोटीन सुरक्षा कवच के रूप में कार्य करता है। प्रोटीन शरीर में पीएच और द्रव संतुलन बनाए रखता है। प्रोटीन ऊर्जा का भी एक स्रोत है। प्रत्येक एक ग्राम प्रोटीन चार किलो कैलोरी ऊर्जा प्रदान करता है। एंटीबॉडी के रूप में, प्रोटीन प्रतिरक्षा प्रणाली में महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है। प्रोटीन आंतरिक गुहाओं में स्नेहक द्रव के रूप में भी कार्य करते है।

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प्रोटीन शरीर निर्माण करने वाले भोज्य समूह के अंतर्गत आता है। एक सामान्य वयस्क व्यक्ति को रोजाना अपने वजन के हिसाब से 0.8 ग्राम प्रोटीन प्रति किलोग्राम की आवश्यकता होती है। चूंकि प्रोटीन एक महत्वपूर्ण मैक्रोन्यूट्रिएंट है, जिसकी शरीर में अधिक मात्रा में आवश्यकता होती है, इसलिए इसकी कमी का शरीर पर दूरगामी प्रभाव पड़ता है। भारत में पाँच वर्ष से कम आयु के 36 प्रतिशत बच्चे अल्पविकसित हैं, 19 प्रतिशत बच्चे लंबाई के हिसाब से बहुत पतले हैं, और 32 प्रतिशत बच्चे कम वजन वाले हैं। अल्पपोषण की व्यापकता को देखते हुए, हमें प्रोटीन की कमी को समझने और दूर करने की जरूरत है। प्रोटीन युक्त खाद्य पदार्थ अक्सर अन्य खाद्य पदार्थों की तुलना में महंगे देखे जाते हैं; लेकिन कुछ खाद्य पदार्थ प्रोटीन से भरपूर होते हैं और सभी जनसंख्या समूहों के लिए सुलभ होते हैं। यहां सभी के लिए कुछ किफायती प्रोटीन स्रोत दिए गए हैं:

सोयाबीन- सोयाबीन प्रोटीन का उत्तम स्रोत है। प्रत्येक 100 ग्राम सोयाबीन में 36 से 38 ग्राम प्रोटीन पाया जाता है। सोयाबीन में मौजूद प्रोटीन में मानव शरीर के लिए आवश्यक सभी आवश्यक अमीनो अम्ल पाए जाते हैं। 250 ग्राम सोयाबीन में मौजूद प्रोटीन तीन लीटर दूध या एक किलो मटन या 24 अंडों के बराबर होता है। प्रोटीन के अच्छे स्रोत के अलावा सोयाबीन में तेल का प्रतिशत भी अधिक (20%) होता है। सोयाबीन में किसी भी अन्य फलियों की तुलना में अधिकांश खनिजों की मात्रा दोगुनी से भी अधिक होती है, विशेष रूप से कैल्शियम, लोहा, फास्फोरस और जस्ता, और बहुत कम मात्रा में सोडियम। सोयाबीन में सभी महत्वपूर्ण विटामिन होते हैं और यह विटामिन बी कॉम्प्लेक्स और विटामिन ई का बहुत अच्छा स्रोत है। सोयाबीन आइसोफ्लेवोन्स का भी समृद्ध स्रोत है। शोध से पता चला है कि सोयाबीन के नियमित सेवन से प्रोस्टेट और स्तन कैंसर का खतरा कम होता है। यह रजोनिवृत्ति से संबंधित लक्षणों को भी कम करता है। सोयाबीन का सेवन सब्जी, दाल, आटा और मूल्यवर्धित उत्पादों (सोया बड़ी, सोया दूध, टोफू) के रूप में किया जा सकता है।

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हरी मटर- हरी मटर वनस्पति प्रोटीन के मुख्य स्रोतों में से एक है। प्रत्येक 100 ग्राम हरी मटर में 7 ग्राम प्रोटीन पाया जाता है, जो अन्य सब्जियों की तुलना में अधिक है। मटर फाइबर, विटामिन ए, फोलेट, थायमिन, विटामिन सी, आयरन और मैंगनीज का अच्छा स्रोत हैं। इसमें उच्च स्तर का विटामिन के (K) भी होता है। हालाँकि, यह प्रोटीन का पूर्ण स्रोत नहीं हैं क्योंकि इसमें एक आवश्यक अमीनो एसिड- मेथिओनिन की कमी होती है। हालाँकि, आहार को पूर्ण करने के लिए मटर का सेवन किसी भी अनाज के साथ किया जा सकता है। मटर का ग्लाइसेमिक इंडेक्स कम होता है और यह रक्त शर्करा को नियंत्रित करने के लिए उपयुक्त भोजन है। हरी मटर में मौजूद पादप रसायन आइसोफ्लेवोन्स, लेक्टिन और सैपोनिन कैंसर को रोकने में मदद करते हैं। हरी मटर पाचन स्वास्थ्य, प्रतिरक्षा प्रणाली और हृदय स्वास्थ्य के लिए अच्छी होती है।

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कद्दू के बीज- कद्दू के बीज प्रोटीन और असंतृप्त वसा का एक अच्छा स्रोत हैं। प्रत्येक 100 ग्राम कद्दू के बीज में 19 ग्राम प्रोटीन होता है। कद्दू के बीज आयरन, सेलेनियम, कैल्शियम, मैग्नीशियम और जिंक से भी भरपूर होते हैं। कद्दू के बीज में विटामिन ई और कैरोटीनॉयड जैसे एंटीऑक्सीडेंट होते हैं। विभिन्न प्रकार के पोषक तत्वों से भरपूर होने के कारण, कद्दू के बीज अपक्षयी बीमारियों के जोखिम को कम करते हैं। स्वाद बढ़ाने के लिए बीजों को कच्चा या भूनकर भी खाया जा सकता है। कद्दू के बीजों को मीठे और नमकीन उत्पादों में एक घटक के रूप में इस्तेमाल किया जा सकता है। इसके अलावा कद्दू के बीज से विभिन्न मूल्य वर्धित उत्पाद
विकसित किये जा सकते हैं।

सूरजमुखी के बीज- सूरजमुखी के बीज की कीमत कम होती है और यह वनस्पति प्रोटीन का एक अच्छा स्रोत हैं। सूरजमुखी के बीज सूरजमुखी के पौधे के बड़े फूलों से आते हैं। खाने योग्य किस्म में हल्का अखरोट जैसा स्वाद होता है। प्रति 100 ग्राम सूरजमुखी के बीज में लगभग 23 ग्राम प्रोटीन मौजूद होता है। यह स्वस्थ वसा,
विटामिन ई, मैग्नीशियम और सेलेनियम से भरपूर है। सूरजमुखी के बीज फेनोलिक एसिड और फ्लेवोनोइड सहित लाभकारी पौधों के यौगिकों का एक अच्छा स्रोत हैं – जो एंटीऑक्सिडेंट के रूप में भी कार्य करते हैं। सूरजमुखी के बीज रक्त शर्करा, रक्तचाप और कोलेस्ट्रॉल के स्तर को कम करने में मदद करते हैं। सूरजमुखी के
बीजों को सलाद, मल्टी-ग्रेन ब्रेड में शामिल किया जा सकता है।

क्विनोआ- क्विनोआ एक प्रकार का छद्म अनाज है। यह प्रोटीन और फाइबर का अच्छा स्रोत है। प्रति 100 ग्राम क्विनोआ में लगभग 13 ग्राम प्रोटीन पाया जाता है। क्विनोआ में सभी नौ आवश्यक अमीनो अमीनो अम्ल पाए जाते हैं। क्विनोआ प्राकृतिक रूप से ग्लूटेन-मुक्त है और ग्लूटेन असहिष्णुता वाले लोगों के लिए सुरक्षित माना जाता है। क्विनोआ विभिन्न विटामिन और खनिजों जैसे फोलेट, थायमिन, मैंगनीज, फॉस्फोरस, मैग्नीशियम से भरपूर है। क्विनोआ में दो फ्लेवोनोइड्स क्वेरसेटिन और काएम्फेरोल पाए जाते हैं, जो शरीर में एंटीऑक्सिडेंट के रूप में कार्य करते हैं। क्विनोआ खाने से चयापचय और हृदय स्वास्थ्य को लाभ होता है। क्विनोआ को चावल
की तरह बनाकर खाया जा सकता है। क्विनोआ को दलिया के रूप में खाया जा सकता है और सलाद में शामिल किया जा सकता है।

मशरूम- मशरूम एक स्वादिष्ट और स्वास्थ्यवर्धक भोजन है जो दुनिया भर में खाया जाता है। इसमें मुख्य रूप से कार्बोहाइड्रेट (50-65%), प्रोटीन (19-35%) और वसा (2-6%) पाया जाता है। इसके अलावा, यह विटामिन बी, सी और डी का अच्छा स्रोत है। मशरूम में सक्रिय यौगिक जैसे पॉलीसेकेराइड, फेनोलिक यौगिक, एल्कलॉइड, स्टेरोल्स और सेलेनियम जैसे सूक्ष्म तत्व भी पाए जाते हैं। मशरूम में पोटेशियम की मात्रा अधिक होती है, जो रक्तचाप को कम करने और हृदय रोग के खतरे को कम करने में मदद करता है। मशरूम प्रतिरक्षा प्रणाली को मजबूत बनाने में मदद करता है। मशरूम का सेवन कैंसर के खतरे को कम कर सकता है। मशरूम का सेवन पकी हुई सब्जी और सूप के रूप में किया जा सकता है या इसे सलाद में भी मिलाया जा सकता है। मशरूम से अचार, बड़ी, पापड़, पाउडर जैसे विभिन्न मूल्यवर्धित उत्पाद विकसित किये जा सकते हैं।

हरी पत्तेदार सब्जियाँ- हालाँकि, हरी पत्तेदार सब्जियों को प्रोटीन स्रोत नहीं माना जाता है, लेकिन कुछ पत्तेदार सब्जियों में प्रोटीन की मात्रा अच्छी होती है, उदाहरण के लिए अगेती की पत्तियाँ, सहजन की पत्तियाँ, अजमोद, पोन्नागन्नी एवं इमली की पत्तियाँ। इन पत्तियों में प्रति 100 ग्राम में 5 से 8 ग्राम तक प्रोटीन की मात्रा
होती है। इसके अलावा, यह पत्तियां आयरन, मैग्नीशियम, विटामिन ए, के और सी के अच्छे स्रोत हैं। अगेती की पत्तियां और पोन्नागन्नी का सेवन मुख्य रूप से दक्षिण भारत में किया जाता है। उपरोक्त पत्तियों का सेवन पकी हुई सब्जियों तथा चटनी के रूप में किया जा सकता है और स्वाद बढ़ाने के लिए विभिन्न खाद्य पदार्थों में
मिलाया जा सकता है। इन्हें निर्जलित करके पाउडर बनाया जा सकता है और मूल्य संवर्धन के लिए उपयोग लाया जा सकता है। पत्तियों के पाउडर को चपाती, पकी हुई दाल, सूप, नमकीन स्नैक्स इत्यादि खाद्य पदार्थो में पौष्टिक बढ़ाने के लिए मिलाया जा सकता है।

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दुग्ध एवं डेयरी उत्पाद– दूध और डेयरी उत्पाद प्रोटीन के अच्छे स्रोत हैं। यह कैल्शियम के महत्वपूर्ण स्रोतों में से एक हैं। डेयरी उत्पादों में लैक्टोज, वसा, विटामिन ए, डी, राइबोफ्लेविन, बी12 और फास्फोरस भी पाया जाता है। गाय और भैंस के दूध में प्रति 100 ग्राम में क्रमशः 3.26 और 3.68 ग्राम प्रोटीन पाया जाता है। खोआ
और पनीर में प्रोटीन की मात्रा 16 से 18 ग्राम प्रति 100 ग्राम तक होती है।

मेवे और बीज- मेवे और बीज अत्यधिक पोषक तत्वों से भरपूर भोज्य समूह हैं, जो प्रोटीन, स्वस्थ वसा और फाइबर से भरपूर हैं। यह विटामिन और खनिजों से भी समृद्ध हैं, और कई प्रकार के सक्रिय मेटाबोलाइट्स जैसे कि फेनोलिक एसिड, फाइटोस्टेरॉल, कैरोटीनॉयड और पॉलीफेनोलिक यौगिक भी इनमें पाये जाते हैं।
अखरोट, बादाम, काजू, , पिस्ता और मूंगफली इसमें मुख्य रूप से शामिल हैं और इनमें प्रति 100 ग्राम में 14 से 23 ग्राम प्रोटीन पाया जाता है। मेवे और बीज स्वस्थ स्नैक्स के विकल्प हैं और इन्हें विभिन्न मीठे या नमकीन उत्पादों में मिलाया जा सकता है। इसके अलावा, चना, दाल और फलियाँ भी प्रोटीन और पोषक तत्वों से भरपूर होते हैं, जो उन्हें स्वस्थ भोजन का विकल्प बनाते हैं।

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