राज्य कृषि समाचार (State News)

बिजली बिल से छुटकारा! सरकार देगी 30 लाख सोलर पंप, जानें पूरी योजना

03 मार्च 2025, भोपाल: बिजली बिल से छुटकारा! सरकार देगी 30 लाख सोलर पंप, जानें पूरी योजना – मध्यप्रदेश सरकार ने किसानों को सस्ती बिजली उपलब्ध कराने के लिए नई योजना की घोषणा की है। मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने कहा है कि अब किसानों को मात्र 5 रुपये में बिजली का स्थाई कनेक्शन मिलेगा। यह योजना चरणबद्ध तरीके से पूरे प्रदेश में लागू की जाएगी।

इसके साथ ही, सरकार ने अगले तीन वर्षों में 30 लाख सोलर पंप किसानों को देने की योजना बनाई है, जिससे उन्हें बिजली के बिल से राहत मिलेगी। प्रत्येक वर्ष 10-10 लाख सोलर पंप दिए जाएंगे। मुख्यमंत्री ने यह भी कहा कि किसानों द्वारा उत्पादित सौर ऊर्जा की खरीद कर उन्हें नगद भुगतान किया जाएगा।

गेहूँ और धान खरीदी पर सरकारी घोषणाएँ

मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने बताया कि सरकार 2,600 रुपये प्रति क्विंटल की दर से गेहूँ खरीदेगी, जिसमें 175 रुपये बोनस राशि शामिल होगी। वर्ष 2003-04 में यह कीमत मात्र 447 रुपये थी। इसके अलावा, धान उपार्जन पर 4,000 रुपये प्रति हेक्टेयर की प्रोत्साहन राशि दी जाएगी।

सरकार अस्थाई कनेक्शन वाले डेढ़ लाख किसानों को स्थाई कनेक्शन दिलवा चुकी है, जिसकी राशि भी कम की गई है। सोलर पंप के लिए किसानों को आंशिक भुगतान करना होगा—3 हॉर्स पावर पंप के लिए 5% और 5 से 7.5 हॉर्स पावर पंप के लिए 10% राशि देनी होगी।

फसल चक्र में बदलाव और जैविक खेती पर जोर

मुख्यमंत्री ने किसानों से फसल चक्र में बदलाव करने का आह्वान किया। सरकार धान के स्थान पर मूंगफली और प्राकृतिक खेती को बढ़ावा देने की योजना बना रही है। साथ ही, जैविक खेती को बढ़ावा देकर मध्यप्रदेश को अलग पहचान दिलाने की रणनीति बनाई जा रही है।

मुख्यमंत्री ने बताया कि प्रदेश में कपास उत्पादन को लेकर नई संभावनाएँ तलाशी जा रही हैं। टेक्सटाइल मिलों में काम करने वाले किसान परिवार के सदस्यों को 5,000 रुपये का बोनस दिया जाएगा।

सिंचाई सुविधा बढ़ाने के लिए केंद्र सरकार की पहल पर केन-बेतवा लिंक परियोजना (1 लाख करोड़ रुपये) और चंबल-काली सिंध-पार्वती लिंक परियोजना (70 हजार करोड़ रुपये) पर काम जारी है। महाराष्ट्र के सहयोग से ताप्ती नदी पर तीसरी नदी जोड़ो परियोजना भी शुरू होगी।

कृषि मेला और उन्नत बीज

राज्य सरकार जिला स्तर पर कृषि मेले लगाने की योजना बना रही है, जहाँ किसानों को उन्नत बीज और आधुनिक कृषि यंत्र उपलब्ध कराए जाएंगे। वैश्विक स्तर पर श्रेष्ठतम बीज भी किसानों को दिए जाएंगे।

प्रदेश सरकार की ये घोषणाएँ किसानों को राहत देने और कृषि क्षेत्र को आत्मनिर्भर बनाने की दिशा में उठाए गए कदमों का हिस्सा हैं। अब देखना होगा कि ये योजनाएँ जमीन पर कितनी कारगर साबित होती हैं।

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