नागपुर के कृषि वैज्ञानिकों ने कपास में गुलाबी इल्ली के नियंत्रण के उपाय बतायें
12 अक्टूबर 2022, खरगोन: नागपुर के कृषि वैज्ञानिकों ने कपास में गुलाबी इल्ली के नियंत्रण के उपाय बतायें – केन्द्रीय कपास अनुसंधान केन्द्र नागपुर (महाराष्ट्र) के कृषि वैज्ञानिकों के दल ने गत मंगलवार को खरगोन जिले में कपास फसल का निरीक्षण किया । वैज्ञानिक दल द्वारा कृषकों को प्रशिक्षण दिया गया। प्रशिक्षण में कपास की कृषि कार्यमाला के साथ फसल के रोगों एवं कीट नियंत्रण के संबंध में विस्तृत से जानकारी दी गई। दल में शामिल वैज्ञानिकों ने कहा कि कपास में पुष्पन आरंभ होने के साथ ही प्रति एकड़ खेत में 04 फीरोमोन प्रपंच लगाए। इनमें प्रतिदिन एकत्रित होने वाली वयस्क पंखियो का रिकार्ड रखे। जैसी ही खेत में प्रति प्रपंच 08 या अधिक पंखियॉ आने लगे तब खेत से बिना किसी भेदभाव के 10 हरे घेंटो का चयन करे, इन हरे घेंटो में इल्लियों की उपस्थिति को देखे, यदि औसत रूप से 01 या अधिक घेंटो में कीट प्रकोप है तब कीटनाशको का उपयोग आरंभ करे, प्रारंभ में प्रोफेनोफास या थायडिओकार्ब या क्यूनालफास जैसे कम विषैले कीटनाशको में से किसी एक का चुनाव कर उपयोग करे, माह नवम्बर में अधिकतम फलन एवं कीट प्रकोप की स्थिति में ही लेम्डा सायहेलोथ्रिन या एमामेक्टिन बेन्जोएट या क्लोरानट्रिनिपाल या इन्डोक्साकार्ब जैसे अधिक विषैले कीटनाशको को उपयोग करे, उन्हांेने कृषको से अपील की कीटनाशको को अनावश्यक मिलान से बचे, एक ही कीटनाशक का बार-बार उपयोग न करे।
दल में ये रहे शामिल
भ्रमण कार्यक्रम में केन्द्रीय कपास अनुसंधान केन्द्र नागपुर (महाराष्ट्र) से गठित वैज्ञानिकों के दल में डॉ. विश्लेश नगरारे (प्रमुख वैज्ञानिक), डॉ. बाबासाहब फंड, डॉ. शैलेष गावंडे, डॉ दीपक नगराले, डॉ. आकाश निकोसे, डॉ. एस.के. परसाई वरिष्ठ वैज्ञानिक तथा प्रमुख कपास अनुसंधान केन्द्र खण्डवा, डॉ. व्हाय.के.जैन सह संचालक आंचलिक अनुसंधान केन्द्र खरगोन, श्री एम.एल. चौहान उप संचालक कृषि खरगोन, श्री टी.एस. मण्डलोई अनुविभागीय कृषि अधिकारी अनुभाग खरगोन, श्री पियुष सोलंकी सहायक संचालक कृषि, श्री प्रकाश ठाकुर सहायक संचालक कृषि, श्री एस.एल. अटोदे वरिष्ठ कृषि विकास अधिकारी विकासखण्ड भीकनगांव, श्री गिरधारी भावर वरिष्ठ कृषि विकास अधिकारी विकासखण्ड खरगोन, श्री राजाराम चौहान वरिष्ठ कृषि विकास अधिकारी विकासखण्ड सेगांव एवं संबंधित क्षेत्र के ग्रामीण कृषि विस्तार अधिकारी उपस्थित रहे।
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