राष्ट्रीय कृषि समाचार (National Agriculture News)

एग्रीस्टैक और किसान आईडी: जानें डिजिटल कृषि मिशन की खास बातें

11 दिसंबर 2024, नई दिल्ली: एग्रीस्टैक और किसान आईडी: जानें डिजिटल कृषि मिशन की खास बातें – देश में डिजिटल कृषि को बढ़ावा देने के लिए 2 सितंबर 2024 को 2817 करोड़ रुपये के परिव्यय के साथ डिजिटल कृषि मिशन को मंजूरी दी गई। इस मिशन का उद्देश्य एक मजबूत डिजिटल कृषि पारिस्थितिकी तंत्र का निर्माण करना है, ताकि किसानों को समय पर और विश्वसनीय फसल संबंधी जानकारी उपलब्ध कराई जा सके। मिशन के तहत कई महत्वपूर्ण पहलुओं पर काम किया जा रहा है। इसमें एग्रीस्टैक परियोजना को विशेष महत्व दिया गया है, जो इस मिशन का प्रमुख घटक है। एग्रीस्टैक परियोजना में कृषि क्षेत्र के तीन मूलभूत डेटाबेस शामिल हैं, जिनमें किसानों की रजिस्ट्री, भू-संदर्भित गांव के नक्शे और बोई गई फसल की रजिस्ट्री का निर्माण और प्रबंधन किया जा रहा है।

अब तक इस परियोजना के तहत 29,99,306 किसान आईडी बनाए जा चुकी हैं। खरीफ 2024 के दौरान 436 जिलों में डिजिटल फसल सर्वेक्षण (डीसीएस) भी किया गया। इसके अलावा, डिजिटल कृषि मिशन के तहत कृषि के लिए डिजिटल सार्वजनिक बुनियादी ढांचे का निर्माण किया जा रहा है। इसमें कृषि निर्णय सहायता प्रणाली (Krishi DSS), मृदा उर्वरता और प्रोफाइल मानचित्र जैसी सेवाओं का विकास और केंद्र एवं राज्य सरकारों द्वारा अन्य आईटी पहलों को लागू करना शामिल है।

एग्रीस्टैक को संघीय संरचना के रूप में तैयार किया गया है, जिसमें डेटा का स्वामित्व राज्यों के पास है। इसे डिजिटल व्यक्तिगत डेटा संरक्षण (डीपीडीपी) अधिनियम, 2023 के प्रावधानों के अनुसार गोपनीयता और सुरक्षा सुनिश्चित करते हुए डिजाइन किया गया है। मिशन के तहत किसानों को फसल प्रबंधन में सटीक जानकारी, मृदा उर्वरता के आंकड़े और कृषि से जुड़े बेहतर निर्णय लेने में मदद मिलेगी।

डिजिटल कृषि मिशन से उम्मीद की जा रही है कि यह पहल कृषि क्षेत्र में डिजिटल परिवर्तन का बड़ा कदम साबित होगी। इसके माध्यम से किसानों को तकनीकी रूप से सशक्त बनाते हुए कृषि में नवाचार को बढ़ावा दिया जाएगा।

यह जानकारी कृषि एवं किसान कल्याण राज्य मंत्री श्री राम नाथ ठाकुर ने लोकसभा में लिखित उत्तर के माध्यम से दी।

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