अरहर/तुअर दाल में आत्मनिर्भरता पाने एमएसपी में 8% की बढ़ोतरी
21 जून 2024, नई दिल्ली: अरहर/तुअर दाल में आत्मनिर्भरता पाने एमएसपी में 8% की बढ़ोतरी – भारत सरकार ने विपणन सत्र 2024-25 के लिए खरीफ की प्रमुख फसलों के न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) में वृद्धि को मंजूरी दे दी है। इस वृद्धि में तुअर दाल का एमएसपी 7000 रुपये प्रति क्विंटल से बढ़ाकर 7550 रुपये प्रति क्विंटल कर दिया गया है। यह वृद्धि 550 रुपये प्रति क्विंटल की है। जो पिछले वर्ष की तुलना मे 8% अधिक है।
फसल | 2020-21 | 2021-22 | 2022-23 | 2023-24 | वृद्धि | 2024-25 |
अरहर | 6000 | 6300 | 6600 | 7000 | 550 | 7550 |
दलहन में आत्मनिर्भरता – समय की मांग
केंद्र सरकार द्वारा अरहर/तुअर दाल के एमएसपी में वृद्धि के पीछे कई महत्वपूर्ण कारण हैं:
- घरेलू उत्पादन को प्रोत्साहन: एमएसपी में वृद्धि से किसानों को उनकी फसल का बेहतर मूल्य मिलेगा, जिससे वे दालों की खेती के लिए अधिक प्रेरित होंगे। इससे देश में दालों का उत्पादन बढ़ेगा और आयात पर निर्भरता कम होगी।
- किसानों की आय में वृद्धि: उच्च एमएसपी से किसानों को उनकी उपज का उचित मूल्य मिलेगा, जिससे उनकी आय में वृद्धि होगी और उनकी आर्थिक स्थिति मजबूत होगी।
- पोषण सुरक्षा: अरहर/तुअर दाल प्रोटीन का महत्वपूर्ण स्रोत है। इसका उत्पादन बढ़ाकर सरकार पोषण सुरक्षा को सुनिश्चित करना चाहती है।
- कृषि क्षेत्र की स्थिरता: एमएसपी में वृद्धि से कृषि क्षेत्र में स्थिरता आएगी और किसानों को वित्तीय सुरक्षा मिलेगी।
भारत में अरहर/तुअर दाल का उपभोग व्यापक स्तर पर होता है और यह प्रोटीन का एक प्रमुख स्रोत है। आत्मनिर्भर भारत अभियान के तहत सरकार ने दालों की उत्पादन क्षमता बढ़ाने और किसानों को प्रोत्साहित करने के लिए एमएसपी में वृद्धि की है। इसका मुख्य उद्देश्य देश को दालों के मामले में आत्मनिर्भर बनाना है।
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