उद्यानिकी (Horticulture)

कृषि वैज्ञानिक ने उद्यानिकी फसलों की बीमारियों के उपचार बताए

23 फरवरी 2022,  इंदौर।  कृषि वैज्ञानिक ने उद्यानिकी फसलों की बीमारियों के उपचार बताए    कृषि विज्ञान केंद्र शाजापुर के वरिष्ठ वैज्ञानिक डॉ मुकेश सिंह ने  बेरछा क्षेत्र के बेरछा व रंथभँवर में लगी टमाटर, लहसुन, प्याज , प्याज बीज व चने की फसलों को देखकर उनमें लगी बीमारियों  को देखकर उपस्थित किसानों को उपचार बताए।  

श्री सिंह ने टमाटर की फसल में लगी  माहू (मोले) की बीमारी के बारे बताया कि इस रस चूसक कीट  को मारने के लिए इमीडाक्लोरपीड 17.5%एस एल या लेमडा साइक्लोथ्रिन  5%ईसी या फिप्रोनिल 40% + इमीडाक्लोरपीड 40%डब्ल्यूजी या डायमेथोयेट 30% का छिड़काव करें। इससे माहू नियंत्रित होगा। टमाटर व प्याज बीज का उत्पादन अच्छा मिलेगा। लहसुन – प्याज में लगी बीमारियों से फसल पीली पड़ने लगी और प्याज का कन्द भी अच्छा बड़ा बने इसको लेकर डॉ., सिंह  ने बताया कि थ्रिप्स व पीलापन बहुत मात्रा में प्याज लहसुन में लगी है  इसकी रोकथाम के लिए स्पिनेटोरम 11.7%एस सी या लेमडासाहलोथ्रीरीन 5%ईसी या कारटाप हाइड्रोक्लोराइड 75% एस जी के साथ कासुगामाइसिन 5% + कॉपर ऑक्सीक्लोराईड 45% डब्ल्यू पी या थायोफिनेट मिथाइल 70% डब्ल्यूपी या डिमेथोमॉर्फ 12% + पयरक्लोस्ट्रोबिन 6.7% डब्ल्यूजी या एजोक्सिस्टरोबिन 11% + टेबुकनाज़ोले 18.3% एस सी के साथ मे लिक्विड सल्फर का छिड़काव करें ताकि इस समय लगी बीमारियों की रोकथाम की जा सके।  इस मौके पर डॉ. मुकेशसिंह के साथ बीज विक्रेता श्री सुनील नाहर, उन्नत किसान श्री ईश्वरी लाल नाहर,श्री चंद्रप्रकाश नाहर और श्री राजेश यादव  भी उपस्थित थे।

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