संपादकीय (Editorial)

प्याज की अच्छी कीमत मिलने से किसानों के चेहरे खिले 

(राजीव कुशवाह)

नागझिरी। आमतौर पर प्याज बेचकर आंसू बहाने वाले किसानों के चेहरे इस बार प्याज की अच्छी कीमत मिलने से खिले हुए हैं। हालांकि अति वृष्टि से इस बार प्याज का औसत उत्पादन 30-40  क्विंटल प्रति एकड़ ही रहा, लेकिन प्याज की ऊँची कीमतों ने कम उत्पादन की भरपाई कर दी ।
नागझिरी, बडग़ांव सहित अंचल के बड़े रकबे में लगाए गए प्याज की इस बार अच्छी कीमत मिलने से किसानों को प्याज की खेती करने के लिए उत्साहित कर दिया है। कई किसानों ने अगली फसल के लिए प्याज की चौपाई शुरू भी कर दी है। किसान श्री विजय चौधरी और गोलू पटेल ने कृषक जगत को बताया कि यदि प्याज के दाम 70 -80 रु. प्रति किलो पर स्थिर रहे तो आगामी मकर संक्रांति पर्व किसानों के जीवन में मिठास घोल देगा। क्षेत्र में पहले प्याज का औसत उत्पादन 100  क्विंटल प्रति एकड़ रहता था, लेकिन इस साल ज्यादा बारिश के कारण प्याज की चौपाई सितंबर में हुई। अक्टूबर तक बारिश होने से नुकसान होने से प्याज का उत्पादन 30-40 क्विंटल प्रति एकड़ ही मिला। जबकि अन्य प्याज उत्पादक श्री श्रीराम कुशवाह,श्री जितेन्द्र पटेल, श्री विजय सेन, श्री सावन सोलंकी, श्री अनिल टेटू आदि ने कहा कि इस साल  प्याज की अच्छी कीमत सौ रुपए किलो तक मिल जाने से किसान खुश हैं। प्याज के भावों में आए उछाल से श्री रामेश्वर ने अगली प्याज की फसल में भी अच्छे दाम मिलने की उम्मीद जताई।

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