फसल की खेती (Crop Cultivation)

बारिश, आंधी और बढ़ती नमी में क्या करें किसान? जानिए IARI की विशेषज्ञ सलाह

05 मई 2025, नई दिल्ली: बारिश, आंधी और बढ़ती नमी में क्या करें किसान? जानिए IARI की विशेषज्ञ सलाह – भारतीय कृषि अनुसंधान संस्थान (IARI) के कृषि विशेषज्ञों ने मौसम के हिसाब से साप्ताहिक कृषि सलाह दी है, जो किसानों के लिए किसी खजाने से कम नहीं। इन सुझावों को अपनाकर आप अपनी फसलों को मौसम की मार से बचा सकते हैं और पैदावार को कई गुना बढ़ा सकते हैं। तो आइए, जानते हैं इस सप्ताह का मौसम और फसलों की देखभाल के गुर!

फसलों की देखभाल के आसान नुस्खे 

1. अनाज भंडारण: कीटों को कहें अलविदा

अनाज को गोदाम में रखने से पहले भंडारघर की अच्छी तरह सफाई कर लें। छत या दीवारों में अगर कोई दरार हो तो उसे भरकर ठीक करें। अनाज को पूरी तरह सुखाएं ताकि उसमें नमी 12% से कम रहे। बोरियों को 5% नीम तेल के घोल से उपचारित करें और फिर धूप में सुखाएं। इससे कीटों के अंडे, लार्वा और बीमारियां नष्ट हो जाएंगी, और आपका अनाज सुरक्षित रहेगा।

2. हरी खाद: मिट्टी को बनाएं तंदुरुस्त

गर्मियों में सनई और ढैंचा जैसी हरी खाद फसलों की बुवाई का सही समय है। सनई के लिए 60-70 किग्रा और ढैंचा के लिए 50-60 किग्रा बीज प्रति हेक्टेयर डालें। ध्यान रखें कि खेत में पर्याप्त नमी हो, ताकि बीज अच्छे से अंकुरित हो सकें। यह आपकी मिट्टी को पोषण देगा और अगली फसल की पैदावार बढ़ाएगा।

3. चारा फसलें: ग्वार, मक्का, बाजरा की बुवाई

इस सप्ताह ग्वार, मक्का और बाजरा जैसी चारा फसलों की बुवाई करें। खेत में पर्याप्त नमी का ध्यान रखें। बीज को 3-4 सेमी गहराई पर बोएं और पंक्तियों के बीच 25-30 सेमी की दूरी रखें। इससे फसल को बढ़ने के लिए सही जगह मिलेगी और पैदावार अच्छी होगी।

4. अरहर और कपास: खेत तैयार, बीज सही चुनें

अरहर और कपास की बुवाई के लिए खेत को तैयार करें। बीज हमेशा किसी प्रमाणित और भरोसेमंद स्रोत से ही खरीदें। सही बीज और अच्छी तैयारी से आपकी फसल की शुरुआत मजबूत होगी, जो आगे चलकर अच्छा मुनाफा देगी।

5. सब्जियों की तुड़ाई: सही समय, सही देखभाल

तैयार सब्जियों की तुड़ाई सुबह या शाम के ठंडे समय में करें। तुड़ाई के बाद इन्हें छायादार जगह पर रखें ताकि उनकी ताजगी और गुणवत्ता बनी रहे। इससे बाजार में आपकी सब्जियों की कीमत भी अच्छी मिलेगी।

6. भिंडी: कीटों पर नजर, पैदावार पर जोर

भिंडी की तुड़ाई के बाद खेत में 5-10 किग्रा यूरिया प्रति एकड़ डालें। माईट कीट पर लगातार नजर रखें। अगर कीट ज्यादा दिखें तो साफ मौसम में ईथियॉन को 1.5-2 मि.ली. प्रति लीटर पानी के साथ छिड़काव करें। इस मौसम में भिंडी को कम अंतराल पर हल्की सिंचाई दें ताकि फसल स्वस्थ रहे।

7. बैंगन और टमाटर: कीटों से जंग

बैंगन और टमाटर की फसल में प्ररोह और फल छेदक कीट का खतरा रहता है। प्रभावित फलों और प्ररोहों को इकट्ठा करके नष्ट कर दें। अगर कीटों की संख्या ज्यादा हो तो साफ मौसम में स्पिनोसैड 48 ईसी को 1 मि.ली. प्रति 4 लीटर पानी के साथ छिड़काव करें। इससे आपकी फसल सुरक्षित रहेगी और पैदावार प्रभावित नहीं होगी।

मौसम का मूड: बीता सप्ताह और अगले कुछ दिन 

पिछले सप्ताह आसमान ज्यादातर साफ रहा, लेकिन 2 मई को 52.1 मिमी बारिश ने मौसम में थोड़ा बदलाव लाया। दिन का तापमान 36.1 से 42.6 डिग्री सेल्सियस और रात का तापमान 18.7 से 26.6 डिग्री सेल्सियस के बीच रहा। आर्द्रता 33% से 98% तक रही, हवा 6.5 किमी/घंटा की रफ्तार से चली और वाष्पीकरण 7.9 मिमी प्रतिदिन रहा। 

अगले सप्ताह (5-7 मई) की बात करें तो 5 मई को 20 मिमी बारिश हो सकती है, उसके बाद रोजाना 1 मिमी बारिश का अनुमान है। पूरे सप्ताह में 24 मिमी बारिश होने की संभावना है। दिन का तापमान 35-37 डिग्री और रात का 21-25 डिग्री सेल्सियस रहेगा। आर्द्रता 90-95% (अधिकतम) और 35-45% (न्यूनतम) होगी। हवा 10-15 किमी/घंटा की रफ्तार से, ज्यादातर दक्षिण-दक्षिण-पूर्व दिशा से चलेगी। 5 मई को गरज-चमक के साथ हल्की बारिश और 30-50 किमी/घंटा की तेज हवाएं चल सकती हैं। बादल मध्यम से घने (6-7 ओक्टा) रहेंगे।

किसान भाइयों, मौसम की हर चुनौती का जवाब इन सलाहों में छिपा है! इन आसान उपायों को अपनाएं, अपनी फसलों को मजबूत करें और मुनाफे की नई ऊंचाइयों को छूएं। किसी भी सवाल या मदद के लिए अपने नजदीकी कृषि केंद्र से संपर्क करें। खेती में मेहनत और समझदारी से आप हर बार जीत सकते हैं!

(नवीनतम कृषि समाचार और अपडेट के लिए आप अपने मनपसंद प्लेटफॉर्म पे कृषक जगत से जुड़े – गूगल न्यूज़,  टेलीग्रामव्हाट्सएप्प)

(कृषक जगत अखबार की सदस्यता लेने के लिए यहां क्लिक करें – घर बैठे विस्तृत कृषि पद्धतियों और नई तकनीक के बारे में पढ़ें)

कृषक जगत ई-पेपर पढ़ने के लिए नीचे दिए गए लिंक पर क्लिक करें:

www.krishakjagat.org/kj_epaper/

कृषक जगत की अंग्रेजी वेबसाइट पर जाने के लिए नीचे दिए गए लिंक पर क्लिक करें:

www.en.krishakjagat.org

Advertisements