सोयाबीन, उड़द में पीला मोजेक नियंत्रण के लिए पीला चिपचिपा ट्रेप लगाएं
21 अगस्त 2024, झाबुआ: सोयाबीन, उड़द में पीला मोजेक नियंत्रण के लिए पीला चिपचिपा ट्रेप लगाएं – खरीफ जिले मौसम में 2024 अंतर्गत 1,89,260 हेक्टेयर रकबा लक्षित होकर बुवाई का कार्य लगभग सम्पन हुआ I जिला कलेक्टर नेहा मीना के मार्गदर्शन में फसलों की स्थिति का जायजा लेने हेतु जिला स्तरीय दल श्री एन.एस. रावत, उप संचालक कृषि जिला झाबुआ के साथ श्री एल.एस. चारेल अनुविभागीय अधिकारी कृषि झाबुआ, श्री हीरा सिंह चौहान, श्री संतोष मौर्य, श्री एम.एस. धार्वे सहायक संचालक कृषि एवं संबंधित विकासखण्ड के वरिष्ठ कृषि विकास अधिकारी एवं मैदानी अमले द्वारा जिले में सोयाबीन, धनिया, कपास फसल का निरीक्षण किया गया। निरीक्षण के दौरान आंशिक रूप से कीट व्याधि प्रकोप देखा गया। जिसके प्रकोप नियंत्रण हेतु कृषकों को उपयोगी समसामयिक सलाह दी गई।
खेत में सोयाबीन, उड़द की फसल में पीला मोजेक के प्रकोप के नियंत्रण हेतु प्रारंभिक अवस्था में ही अपने-अपने खेत में जगह-जगह पर पीला चिपचिपा ट्रेप लगाएं जिससे इसका संक्रमण फैलाने वाली सफेद मक्खी के नियंत्रण में सहायता मिले। साथ ही पीला मोजेक ग्रसित पौधे को अपने खेत से निकाल कर नष्ट करें। कुछ क्षेत्रों में लगातार हो रही रिमझिम वर्षा की स्थिति में पत्ती खाने वाली इल्लियों के नियंत्रण हेतु इन्डोक्साकार्ब 333 एम.एल. प्रति हेक्टेयर या लेम्बडा साईहेलोथ्रिन 4.9 सी.एस. 300 एम. एल. प्रति हेक्टेयर का छिड़काव करें। सोयाबीन, कपास की फसल में फफूँद जनित एन्थेक्नोज तथा राइजोक्टोनिया एरियल ब्लाईट नामक बीमारी का प्रकोप होने पर टेबुकोनाजोल 625 एम.एल. प्रति हेक्टेयर या टेबुकोनाजोल सल्फर 1 कि.ग्रा. प्रति हेक्टेयर या हैक्साकोनाजोल 5 प्रतिशत ई.सी. 800 एम.एल. प्रति हेक्टेयर के मान से छिड़काव करें। तम्बाकू की इल्ली एवं पत्ते खाने वाली इल्लियों तथा रस चूसने वाले कीट जैसे सफेद मक्खी/जैसिड एवं तनाछेदक एवं गर्डलबिटल कीट के एक साथ नियंत्रण हेतु थायोमिथोक्सम 12.6 लेम्बडा सायहेलोथ्रिन 9.5 % ZC (125 मि.ली/हेक्टेयर) या बीटासायफ्लूथ्रिन इमिडाक्लोप्रिड (350 मिली / हेक्टेयर) का छिड़काव करें। मक्का फसल में फॉल आर्मीवर्म के नियंत्रण हेतु क्लोरोपायरीफास 20 ई.सी. या ईमामेक्टिन बेन्जोएट 5 ई.सी. 4 ग्राम/10 मि.ली. या थायोमेथाक्सम लेम्बाडा सायहेलोथ्रिन 0.5 एम.एल. प्रति लीटर पानी में उचित घोल बनाकर छिड़कें। कपास में रस चूसक कीट एफिड का प्रकोप होने पर एसीटामिप्रिड दवा का 10 मिली प्रति स्प्रे पंप के मान से घोल बनाकर छिड़काव करने की सलाह दी गई है I
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