राज्य कृषि समाचार (State News)

छत्‍तीसगढ़ में 15 नवंबर से शुरू होगी धान खरीद, 25 लाख से अधिक किसानों को मिलेगा 3100 रुपए/क्विंटल समर्थन मूल्य

13 अक्टूबर 2025, नई दिल्ली: छत्‍तीसगढ़ में 15 नवंबर से शुरू होगी धान खरीद, 25 लाख से अधिक किसानों को मिलेगा 3100 रुपए/क्विंटल समर्थन मूल्य – छत्तीसगढ़ के धान किसानों के लिए बड़ी राहत की खबर सामने आई है। राज्य सरकार ने खरीफ विपणन वर्ष 2025-26 के लिए समर्थन मूल्य पर धान खरीद की प्रक्रिया को लेकर महत्वपूर्ण फैसले किए हैं। मुख्यमंत्री विष्णु देव साय की अध्यक्षता में मंत्रालय में हुई कैबिनेट बैठक में यह निर्णय लिया गया कि राज्यभर के 25 लाख से ज्यादा किसान 3100 रुपये प्रति क्विंटल की दर से अपना धान बेच सकेंगे। इस मूल्य में बोनस राशि भी शामिल है, जो किसानों को अतिरिक्त लाभ प्रदान करेगी। यह धान खरीद 15 नवंबर 2025 से शुरू होकर 31 जनवरी 2026 तक जारी रहेगी।

केंद्र सरकार ने सामान्य धान के लिए 2369 रुपये प्रति क्विंटल और ग्रेड-A धान के लिए 2389 रुपये प्रति क्विंटल न्यूनतम समर्थन मूल्य (MSP) तय किया है। ऐसे में राज्य सरकार किसानों को अतिरिक्त 731 रुपये प्रति क्विंटल बोनस देने का ऐलान किया है, जो सामान्य धान पर मिलेगा। वहीं, ग्रेड-A धान पर 711 रुपये प्रति क्विंटल अतिरिक्त बोनस दिया जाएगा। इस निर्णय से किसानों को बेहतर मूल्य मिलने की उम्मीद है, और साथ ही उन्हें बिक्री के बाद 6 से 7 दिन के भीतर भुगतान की गारंटी भी दी जाएगी।

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नई तकनीकों और पारदर्शिता के साथ धान खरीद प्रक्रिया

धान की खरीदारी प्रक्रिया को पूरी तरह पारदर्शी और डिजिटल बनाने के लिए राज्य सरकार ने कई कदम उठाए हैं। अब किसानों के लिए पंजीकरण और पंजीयन प्रक्रिया को सरल और डिजिटल किया गया है। ई-केवाईसी और एग्रीस्टेक पोर्टल के माध्यम से किसानों का पंजीकरण अनिवार्य किया गया है, ताकि किसी भी प्रकार की धोखाधड़ी और फर्जी पंजीकरण से बचा जा सके। इसके अलावा, अब किसान ‘टोकन तुंहर हाथ’ मोबाइल एप के जरिए ऑनलाइन टोकन ले सकेंगे, जिससे लंबी कतारों में खड़े रहने की समस्या का समाधान होगा।

इसके साथ ही, राज्य सरकार ने यह सुनिश्चित किया है कि धान की खरीदी केवल वास्तविक किसानों से ही की जाएगी, इसके लिए बायोमैट्रिक सत्यापन का उपयोग किया जाएगा। धान खरीदी के लिए 2739 केंद्र स्थापित किए जाएंगे, जिनके जरिए पूरी प्रक्रिया को नियमित और प्रभावी तरीके से संचालित किया जाएगा। खरीदी केंद्रों के संचालन के लिए कलेक्टरों को प्रशासनिक अधिकारियों को केंद्र प्रभारी नियुक्त करने के निर्देश दिए गए हैं, ताकि खरीदी में कोई भी अव्यवस्था न हो।

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किसानों के लिए बेहतर निगरानी और अवैध धान की रोकथाम

राज्य सरकार ने यह भी सुनिश्चित किया है कि खरीदी केंद्रों पर कड़ी निगरानी रखी जाएगी। इसके लिए मार्कफेड कार्यालय में इंटीग्रेटेड कमांड एंड कंट्रोल सेंटर की स्थापना की जा रही है, जहां से पूरे राज्य की खरीदी प्रक्रिया की निगरानी की जाएगी। इसके अलावा, जिलों में भी नियंत्रण कक्ष (कंट्रोल रूम) बनाए जाएंगे। सरकार ने अवैध धान की आवक को रोकने के लिए सीमावर्ती जिलों में विशेष चेकिंग दल गठित करने का निर्णय लिया है। साथ ही, धान के परिवहन और उठाव की सख्त निगरानी के लिए भौतिक सत्यापन की व्यवस्था भी की जाएगी।

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केंद्र सरकार ने खाद्य विभाग के माध्यम से 2025-26 के खरीफ वर्ष के लिए छत्तीसगढ़ को 73 लाख मीट्रिक टन चावल केंद्रीय पूल में देने का लक्ष्य निर्धारित किया है। इससे राज्य के किसानों को न केवल एक सुरक्षित बाजार मिलेगा, बल्कि उनकी आय में भी इजाफा होगा। यह कदम राज्य में धान उत्पादन की बढ़ी हुई मात्रा को ध्यान में रखते हुए उठाया गया है, ताकि छत्तीसगढ़ की धान की उपज को बेहतर तरीके से बाजार में उतारा जा सके।

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