राजस्थान में शुरू हुआ कृषि आदान विक्रेताओं के लिए 25वां डिप्लोमा बैच, जानें इसकी खासियत
02 दिसंबर 2024, जयपुर: राजस्थान में शुरू हुआ कृषि आदान विक्रेताओं के लिए 25वां डिप्लोमा बैच, जानें इसकी खासियत – कृषि आदान विक्रेताओं के लिए ‘डिप्लोमा इन एग्रीकल्चर एक्सटेंशन सर्विसेज फॉर इनपुट डीलर्स’ का 25वां बैच जयपुर के दुर्गापुरा स्थित राज्य कृषि प्रबन्ध संस्थान (श्याम) में शुरू हो गया है। इस डिप्लोमा कार्यक्रम का उद्देश्य कृषि आदान विक्रेताओं को कृषि क्षेत्र की नई तकनीकों की जानकारी देना और उन्हें किसानों के लिए तकनीकी सहायता प्रदान करने में सक्षम बनाना है।
यह डिप्लोमा कोर्स खासतौर पर उन लोगों के लिए है, जो कृषि आदानों का व्यापार करते हैं और इस क्षेत्र में तकनीकी जानकारी बढ़ाकर किसानों को बेहतर सेवाएं प्रदान करना चाहते हैं। कोर्स के दौरान कृषि, उद्यान, पशुपालन, और मुर्गीपालन जैसे विषयों पर गहन प्रशिक्षण दिया जाता है।
राज्य कृषि प्रबन्ध संस्थान के निदेशक श्री ईश्वर लाल यादव ने बताया कि इस डिप्लोमा कोर्स के तहत प्रतिभागी कृषि की नवीनतम तकनीकों को सीखकर न केवल अपना व्यवसाय उन्नत कर सकेंगे, बल्कि किसानों को उन्नत बीज, उर्वरक और कीटनाशक उपलब्ध कराने में भी मददगार साबित होंगे। साथ ही, वे कृषि और उद्यान विभाग के पैरा–प्रसार कार्यकर्ता के रूप में भी अपनी भूमिका निभा पाएंगे।
48 सप्ताह का प्रशिक्षण कार्यक्रम
उप निदेशक कृषि एवं राज्य समन्वयक श्री सुरेन्द्र सिंह राजावत ने बताया कि यह डिप्लोमा कोर्स 48 सप्ताह का है। इसमें 40 सप्ताह तक कक्षाएं आयोजित होती हैं और 8 सप्ताह का फील्ड भ्रमण शामिल है। कोर्स के दौरान प्रतिभागियों को विषय विशेषज्ञों द्वारा विस्तृत प्रशिक्षण दिया जाता है।
महत्वपूर्ण आंकड़े
- कुल बैच: राज्य में अब तक 186 बैच आयोजित हो चुके हैं।
- जयपुर में: यह 25वां बैच है।
- प्रत्येक बैच की क्षमता: 40 प्रतिभागियों का पंजीकरण किया जाता है।
सर्टिफिकेट और लाइसेंस का फायदा
डिप्लोमा पूरा करने पर प्रतिभागियों को मैनेज, हैदराबाद की ओर से प्रमाणपत्र जारी किया जाता है। इस सर्टिफिकेट के आधार पर डिप्लोमा धारक कृषि आदानों, जैसे बीज, उर्वरक, और कीटनाशकों का व्यापार करने के लिए अनिवार्य लाइसेंस प्राप्त कर सकते हैं।
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