शिवपुरा के सीबीजी प्लांट में धान की पराली से बन रहे बेल
08 दिसंबर 2025, शिवपुरा: शिवपुरा के सीबीजी प्लांट में धान की पराली से बन रहे बेल – कलेक्टर सतना डॉ. सतीश कुमार एस द्वारा वर्ष 2025-26 में नरवाई प्रबंधन के लिये चलाये जा रहे अभियान के अंतर्गत शिवपुरा स्थित सीबीजी प्लांट के एग्रीगेटर के माध्यम से किसानों के खेत में निःशुल्क धान की पराली से बेल बनाये जा रहे है। अभी तक 15000 मीट्रिक टन बेल बनाये जा चुके है। अभी भी बेल संग्रहण की प्रकिया चालू है।
सहायक कृषि यंत्री ने बताया कि सीबीजी प्लांट के अंतर्गत कार्यरत एग्रीगेटर आईटीसी, बायोफ्यूल, फार्म वाट, ग्रूनर किसान ऊर्जा की कंपनियां हैं , जिनके पास लगभग 40 बेलर मशीन उपलब्ध है, जो अलग-अलग विकास खंडों में कार्यरत है। सीबीजी प्लांट में इन बेल के माध्यम से कंप्रेस बायोगैस एवं ऑर्गेनिक फर्टिलाइजर बनाया जाता है। इसके अलावा जिला में नरवाई प्रबंधन के लिये कस्टम हायरिंग केन्द्र एवं हाईटेक हब सेंटर भी महत्वपूर्ण भूमिका निभा रहे है। जिनके पास नरवाई प्रबंधन के लिये उपयोगी मशीनें उपलब्ध है। ग्रामीण क्षेत्रों में आस-पास के किसानों के खेतों में सुपर सीडर, प्लाऊ, रोटावेटर, बेलर एवं मल्चर आदि उपकरण किराए से उपलब्ध हो रहे हैं । जिससे युवाओं को स्वरोजगार के साथ अतिरिक्त आय भी प्राप्त हो रही है।
नरवाई प्रबंधन में इन सीटू प्रबंधन के तहत फसल अवशेष को त्वरित एवं प्रभावी ढंग से निष्पादित किये जाने की सबसे आसान विधि है। इस विधि में हैप्पी सीडर, सुपर सीडर, स्मार्ट सीडर, रीपर, श्रेडर मल्चर, स्ट्रा मैनेजमेंट सिस्टम बेलर, हे रेक बायो चारकोल, बायो डीकंपोजर की मदद से किसानों के खेत में नरवाई प्रबंधन किया जाता है। इसी प्रकार एक्स सीटू प्रबंधन के अंतर्गत फसल अवशेष को विभिन्न उद्योगों में उपयोग किया जाता है। सीबीजी प्लांट/बायोएथेलान प्लांट, पशु चारा, डेरी फार्म में साइलेज के रूप में, कंपोस्ट, जैविक खाद के रूप में ताप विद्युत केंद्रों में बॉयलर में पैलेट फार्म में ईंधन के रूप में, पेपर मिल पैकेजिंग उद्योगों में भी फसल अवशेष का उपयोग किया जाता है।
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