मध्यप्रदेश के 50 प्रतिशत ग्रामों को जोड़ेंगे दुग्ध नेटवर्क से: मुख्यमंत्री डॉ. यादव
09 जुलाई 2025, भोपाल: मध्यप्रदेश के 50 प्रतिशत ग्रामों को जोड़ेंगे दुग्ध नेटवर्क से: मुख्यमंत्री डॉ. यादव – मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने कहा है कि राज्य सरकार प्रदेश में दुग्ध उत्पादन बढ़ाकर किसानों और पशुपालकों की आर्थिक उन्नति सुनिश्चित करने के लिए प्रतिबद्ध है। इसके लिए प्रदेश के 50 प्रतिशत गांवों को दुग्ध नेटवर्क में लाने की रणनीति पर कार्य किया जा रहा है। मुख्यमंत्री रविवार को अपने निवास पर पशुपालन एवं डेयरी विकास विभाग के वरिष्ठ अधिकारियों से चर्चा कर रहे थे।
381 नई सहकारी समितियाँ बनीं, 9500 उत्पादक जुड़े
मुख्यमंत्री ने बताया कि अब तक 381 नई दुग्ध सहकारी समितियों का गठन कर 9500 दुग्ध उत्पादकों को सहकारी डेयरी प्रणाली से जोड़ा गया है। राज्य में दुग्ध उत्पादन की 72 प्रतिशत संभावित क्षमता को कवर करने और बाजार पहुंच को 15 प्रतिशत तक बढ़ाने की दिशा में तेज़ी से काम किया जा रहा है।
केंद्रीय सहकारिता मंत्री अमित शाह ने दिए मार्गदर्शन
मुख्यमंत्री ने कहा कि केंद्रीय गृह एवं सहकारिता मंत्री श्री अमित शाह ने मध्यप्रदेश के लिए डेयरी विकास योजना को और अधिक लाभकारी बनाने हेतु आवश्यक संशोधन करने के निर्देश दिए थे, जिसके तहत प्रदेश में डेयरी क्षेत्र का तेज विकास सुनिश्चित किया जा रहा है।
नस्ल सुधार से लेकर भुगतान तक पर विशेष ध्यान
मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने अधिकारियों को दुग्ध संग्रहण बढ़ाने, दुधारू पशुओं की नस्ल सुधार, राष्ट्रीय डेयरी डेवलपमेंट बोर्ड के सहयोग से देशी नस्ल के लिए मॉडल फार्म तैयार करने, सांची ब्रांड की लोकप्रियता बढ़ाने और भोपाल दुग्ध संघ के अंतर्गत हीफर रियरिंग सेंटर की स्थापना जैसे बिंदुओं पर तेज़ी से कार्य करने के निर्देश दिए। उन्होंने यह भी सुनिश्चित करने को कहा कि किसानों को खरीदे गए दूध का भुगतान समय पर हो और डिजिटलीकरण कार्य की भी नियमित समीक्षा की जाए।
दुग्ध मूल्य में ढाई से छह रुपए प्रति लीटर तक बढ़ोतरी
इस अवसर पर अधिकारियों ने बताया कि प्रदेश के दुग्ध संघों में न सिर्फ दुग्ध संग्रहण बढ़ रहा है, बल्कि किसानों और दुग्ध उत्पादकों को उनके दूध का बेहतर मूल्य भी मिल रहा है। दुग्ध संघों ने दूध के मूल्य में ढाई रुपए से छह रुपए प्रति लीटर तक की वृद्धि की है।
जबलपुर और ग्वालियर को मिली आर्थिक सहायता
जबलपुर और ग्वालियर दुग्ध संघों में दुग्ध संग्रहण में उल्लेखनीय वृद्धि हुई है। इन दोनों संघों को दुग्ध उत्पादकों के लंबित भुगतान के लिए राज्य सरकार द्वारा दो-दो करोड़ रुपए की कार्यशील पूंजी उपलब्ध करवाई गई है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि डेयरी क्षेत्र के माध्यम से किसानों की आमदनी बढ़ाना सरकार की प्राथमिकता है और इसमें केंद्र सरकार का सहयोग भी लगातार प्राप्त हो रहा है।
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