राज्य कृषि समाचार (State News)

आदिवासी किसानों के जीवन स्तर को बेहतर बना रही नाबार्ड की वाड़ी योजना: सुश्री चंंदनावेली

नाबार्ड का 8वां आम महोत्सव

10 जून 2025, भोपाल: आदिवासी किसानों के जीवन स्तर को बेहतर बना रही नाबार्ड की वाड़ी योजना: सुश्री चंंदनावेली – फलों का राजा आम की खुशबू से ही मन तरोताजा हो जाता है। फिर आम का स्वाद चखने को मिल जाए तो सोने-पे-सुहागा हो जाता है। गत दिनों नाबार्ड के क्षेत्रीय कार्यालय भोपाल में आम महोत्सव 2025 का आयोजन किया गया जिसमें प्रदेश के प्रमुख आम उत्पादकों ने भाग लिया। पांच दिवसीय इस महोत्सव में आम की सभी प्रमुख किस्मों का प्रदर्शन किया गया है।

कार्यक्रम में भारतीय रिजर्व बैंक की रीजनल डायरेक्टर सुश्री रेखा चंदनावेली ने नाबार्ड की सराहना करते हुए कहा कि वाड़ी परियोजना चलाकर किसानों की सहायता करना बड़ा कदम है। उन्होंने कहा कि इस परियोजना की सहायता से आदिवासी किसानों में आत्म विश्वास बढ़ा है और वे अच्छा कार्य कर रहे हैं। सुश्री चंदनावेली ने कहा कि भारतीय रिजर्व बैंक कृषि क्षेत्र की सहायता के लिए हमेशा तैयार है क्योंकि नाबार्ड कृषकों की उपज बेचने में सहयोग कर रहा है। उन्होंने कहा किसानों के लिए बाजार उपलब्ध कराना आवश्यक है।

सहकारिता आयुक्त एवं पंजीयक श्री मनोज पुष्प ने कहा कि प्रदेश में आम की तरह संतरा एवं मसालों का महोत्सव भी नाबार्ड जैसी संस्था को मनाना चाहिए इससे किसान आत्मनिर्भर बनेंगे तथा उनकी आमदनी में इजाफा होगा। उन्होंने कहा कि प्रदेश के सीमावर्ती जिलों में इस प्रकार के कार्यक्रम से किसानों को अन्य प्रदेशों के शहरों में मार्केटिंग की सुविधा मिलेगी।

कार्यक्रम के प्रारंभ में नाबार्ड की मुख्य महाप्रबंधक श्रीमती सी सरस्वती ने बताया कि वर्ष 2018 से प्रारंभ हुए आम महोत्सव का यह 8वां वर्ष है। वाड़ी परियोजना के तहत नाबार्ड आदिवासी क्षेत्र के किसानों को आम, नींबू, कटलह आदि के पौधे ट्रायबल डेव्हलपमेंट फंड (टीडीएफ) द्वारा उपलब्ध कराता है। अब तक प्रदेश में लगभग 100 वाड़ी परियोजनाएं स्वीकृत की गई है। जिसमें 200 करोड़ रुपए का भुगतान किया गया है।

श्रीमती सरस्वती ने बताया कि महोत्सव में लगभग 20 टन आम विक्रय होने की संभावना है।

सेंट्रल बैंक के महाप्रबंधक श्री तरसेम सिंह जीरा ने आम महोत्सव के आयोजन के लिए नाबार्ड की सराहना की।

आम की प्रदर्शित प्रमुख किस्में : आम महोत्सव में लंगड़ा, दशहरी, सुंदरजा, नूरजहां, चौसा, तोतापरी, केसर, आम्रपाली आदि किस्में प्रदर्शित की गई है।

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