ट्रॉपिकल से मिला सम्पूर्ण जैविक समाधान
भोपाल। ट्रॉपिकल एग्रोसिस्टम से जुडऩे के बाद जैविक खेती का सम्पूर्ण समाधान मिला है। ट्रॉपिकल के पास बोवनी से लेकर कटाई तक के लिये जैविक उत्पादों की विशाल श्रृंखला है। अभी तक जैविक खेती के लिये सम्पूर्ण उत्पाद उपलब्ध नहीं थे। अब यह समस्या दूर हो गई है। यह विचार ग्राम खापरखेड़ा जिला होशंगाबाद के कृषक श्री सुशील कुमार गोदानी के हैं, जो वर्तमान में 60 एकड़ में धान की पूसा 1516 किस्म की फसल ले रहे हैं। उन्होंने इस फसल में कुछ क्षेत्र में नासा 2 कि. प्रति एकड़ की दर से तथा टैग पोली व नैनोपोटाश का उपयोग किया है। वे बताते हैं कि नासा वाला क्षेत्र की फसल अन्य क्षेत्र की तुलना में अधिक हरी व स्वस्थ है जबकि नासा डालने के पूर्व यह कमजोर थी। इन्होंने गत वर्ष भी टैग पोली का उपयोग किया था। उनके अनुसार एक बार टैग पोली का स्प्रे करने के बाद दोबारा स्प्रे की आवश्यकता नहीं पड़ती है। टैग पोली से फसल में किसी भी तरह के फंगस रोग आदि का प्रकोप नहीं होता है। श्री गोदानी कहते हैं कि वर्तमान में वे आधा एकड़ क्षेत्र में जैविक खेती कर रहे हैं परंतु अब ट्रॉपिकल के संपर्क में आने के बाद जैविक खेती के प्रति उनका आत्मविश्वास बढ़ा है। तथा धीरे-धीरे वे जैविक खेती का क्षेत्र बढ़ाते जायेंगे। फिलहाल वे गेहूं के फसल में भी ट्रॉपिकल के उत्पादों के प्रयोग की योजना बना रहे हैं।