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कृषि विद्यार्थी अन्नदाता के जीवन में उजाला फैलाएं : राज्यपाल

जवाहरलाल नेहरू कृषि विश्वविद्यालय का दीक्षांत समारोह

भोपाल। राज्यपाल एवं कुलाधिपति श्रीमती आनंदीबेन पटेल ने जबलपुर में जवाहरलाल नेहरू कृषि विश्वविद्यालय के 14वें दीक्षांत समारोह में छात्र-छात्राओं का आह्वान किया कि वे अपनी योग्यता और दक्षता से प्रदेश और देश के अन्नदाता किसान के जीवन में उजियारा लाने के लिए संकल्पित हों। उन्होंने कहा कि विश्वविद्यालयों के विद्यार्थी उद्यमिता का विकास और कुटीर उद्योगों की संरचना करें तथा किसानों की आय दोगुनी करने में सहायक बनें।
कुलाधिपति श्रीमती पटेल ने युवाओं में कृषि के प्रति लगाव पैदा करने की आवश्यकता पर जोर दिया। उन्होंने प्रधानमंत्री के स्टार्टअप कार्यक्रम से विश्वविद्यालय के छात्रों को जोडऩे की जरूरत बताई ताकि वे कृषि आधारित उद्योग स्थापित कर सकें। इससे न केवल किसानों को उनकी उपज का सही मूल्य मिल सकेगा, बल्कि उन्हें अपने उत्पादन की बिक्री के लिए बाहर भी नहीं जाना पड़ेगा।
राज्यपाल श्रीमती पटेल ने तीन करोड़ 77 लाख रूपए की लागत से निर्मित राष्ट्रीय स्तर के खेल परिसर एवं तरण-ताल का लोकार्पण भी किया।
इस मौके पर उप महानिदेशक (कृषि शिक्षा) भारतीय कृषि अनुसंधान परिषद् डॉ. नरेन्द्र सिंह राठौड़ ने भी विद्यार्थियों को संबोधित किया।
दीक्षान्त समारोह में पूर्व महानिदेशक भारतीय कृषि अनुसंधान परिषद्, पद्मभूषण डॉ राजेन्द्र सिंह परोदा तथा उप महानिदेशक (कृषि शिक्षा) भारतीय कृषि अनुसंधान परिषद् डॉ. नरेन्द्र सिंह राठौड़ को शाल, श्रीफल एवं स्मृति चिन्ह भेंटकर सम्मानित किया गया। कुलाधिपति श्रीमती पटेल ने डॉ. आर.एस. परोदा को डॉक्टर ऑफ साइंस की मानद उपाधि से विभूषित किया।

पशु चिकित्सा विज्ञान विश्वविद्यालय की सराहना

राज्यपाल श्रीमती आनंदीबेन पटेल ने जबलपुर में नानाजी देशमुख पशु चिकित्सा विज्ञान विश्वविद्यालय द्वारा पशुपालन के क्षेत्र में किये जा रहे शोध एवं अनुसंधानों की सराहना की। श्रीमती पटेल ने विश्वविद्यालय परिसर में लगाई गई पशुपालन प्रदर्शनी का अवलोकन करने के बाद कहा कि विश्वविद्यालय के अनुसंधानों, शोध एवं प्रयोगों का पशुपालकों को निश्चित रूप से लाभ मिलेगा और वे इनका इस्तेमाल कर अपनी आमदनी बढ़ा सकेंगे ।
राज्यपाल श्रीमती पटेल ने विश्वविद्यालय द्वारा लगाई गई प्रदर्शनी में प्रत्येक स्टॉल को देखा। श्रीमती पटेल ने पशुओं को होने वाली बीमारियों के उपचार की दिशा में विश्वविद्यालय द्वारा किये जा रहे अनुसंधानों एवं प्रयोगों की जानकारी ली और उन्नत नस्ल की गाय, बकरी एवं मुर्गी को देखा। राज्यपाल ने मत्स्य-कृषकों को विश्वविद्यालय के मत्स्य चिकित्सा विज्ञान प्रभाग द्वारा तैयार किये गये मत्स्य-बीजों का वितरण किया ।

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