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कृषि स्नातक संघ ने की – कृषक आयोग को वैधानिक दर्जे की मांग

भोपाल। कृषि स्नातक संघ ने प्रधानमंत्री एवं प्रदेश के मुख्यमंत्री को पत्र लिखकर कृषक आयोग को वैधानिक दर्जा देने की मांग की है। संघ के सचिव श्री स्वरूप नायक ने बताया कि प्रदेश के किसानों को समय-समय पर विभिन्न विवादों से जूझना पड़ रहा है एवं उन्हें समय पर न्याय नहीं मिलने से वंचित भी होना पड़ता है। उदाहरणार्थ फर्टिलाइजर कंट्रोल ऑर्डर (1985), इन्सेक्टिसाइड एक्ट एवं सीड एक्ट में किसानों द्वारा क्रय किये जाने वाले कृषि उत्पाद अमानक आने पर किसानों के लिये किसी भी प्रकार की क्षतिपूर्ति राशि का उचित प्रावधान नहीं है जिसके कारण किसानों को कंज्यूमर फोरम के चक्कर लगाने पड़ते हैं एवं उन्हें समय पर न्याय भी नहीं मिल पाता। इसी प्रकार प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना में बैंकों द्वारा प्रीमियम काट लिये जाने के पश्चात भी अधिसूचित फसलों की क्षति होने पर उन्हें फसल बीमा राशि से वंचित होने के बहुत सारे प्रकरण प्रदेश में लंबित हैं। अत: ऐसे प्रकरणों को समय पर निपटाने हेतु कृषक आयोग को यदि वैधानिक दर्जा प्रदान किया जाता है, तो उन्हें समय पर न्याय प्राप्त हो सकेगा। इस हेतु कृषकों के प्रतिनिधित्व के साथ-साथ कृषि स्नातक विशेषज्ञों एवं विधि सलाहकारों को भी कृषक आयोग में रखा जाना आवश्यक होगा।
प्रदेश के किसानों को न्याय हेतु कृषक आयोग को वैधानिक दर्जा दिये जाने के लिए दिशा-निर्देश जारी करने का अनुरोध किया है।

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